Edited By Punjab Kesari,Updated: 21 Jul, 2018 10:05 AM
जीरकपुर के चुनिंदा 12 प्वाइंट्स पर और ट्रैफिक पुलिस के आग्रह पर करीब दो साल पहले नगर काऊंसिल जीरकपुर की ओर से लगाए गए सी.सी.टी.वी. कैमरे खराब पड़े हैं।
जीरकपुर (गुरप्रीत): जीरकपुर के चुनिंदा 12 प्वाइंट्स पर और ट्रैफिक पुलिस के आग्रह पर करीब दो साल पहले नगर काऊंसिल जीरकपुर की ओर से लगाए गए सी.सी.टी.वी. कैमरे खराब पड़े हैं। ये कैमरे उन जगहों पर लगाए गए हैं, जहां आमतौर पर भीड़ रहती है। ताकि कोई आपराधिक घटना होने पर पुलिस क्रिमिनल्स तक आसानी से पहुंच सके, लेकिन अब शहर में लगाए गए 12 सी.सी.टी.वी. में से एक भी कैमरा वर्किंग नहीं है।
चौकी से एक किलोमीटर दूर नगर काऊंसिल आफिस मगर जवाब नहीं
पिछले दो सालों में अब तक तीन ट्रैफिक इंचार्ज जीरकपुर की कुर्सी पर बैठ चुके हैं। इन सबने खराब सी.सी.टी.वी. कैमरा ठीक करवाने के लिए ई.ओ. को करीब 13 बार पत्र लिखे हैं। हाल ही में ट्रैफिक इंचार्ज सब-इंस्पैक्टर मनफूल सिंह को बलौंगी थाना प्रभारी बनाया गया।
उन्होंने बताया कि वह 6 माह तक जीरकपुर में इंचार्ज रहे। उन्होंने 6 बार बंद कैमरों को ठीक करवाने के लिए पत्र भेजे, लेकिन एक का भी जवाब नहीं आया और न कैमरे ठीक करवाए गए।
जबकि नगर काऊंसिल दफ्तर महज एक किलोमीटर दूर है। इन सभी पत्रों की कॉपीज अभी ट्रैफिक पुलिस के कंट्रोल रूम जीरकपुर में रिकॉर्ड के रूप में रखी हुई है। उससे पहले भी करीब 7 बार दूसरे ट्रैफिक इंचार्जों ने लैटर लिखे।
बताया गया कि सबसे पहले दो कैमरे खराब हुए थे। ये काफी समय तक खराब रहे। उसको ठीक करवाने के लिए नगर काउंसिल को पत्र लिखा गया, लेकिन कोई जवाब नहीं आया। उसके बाद एक के बाद एक सारे कैमरे खराब होते चले गए और किसी ने इस तरफ ध्यान नहीं दिया।
बस अड्डे में बनाया गया था कंट्रोल रूम ट्रैफिक पुलिस करती थी ऑप्रेरट
बताया गया कि नगर काऊंसिल ने 15 लाख की लागत से जो 12 प्वाइंट्स पर कैमरे लगाए थे, उनका सीधा लिंक बस अड्डे में बने रूम से करवाया गया था। जीरकपुर बस अड्डे के एक रूम में कंट्रोल रूम व स्क्रीन लगाई गई थी, जहां से ट्रैफिक पुलिस कैमरों को ऑपरेट करती थी।
यही नहीं शहर में कोई वारदात होते ही संबंधित थाना पुलिस भी इस कंट्रोल का फायदा उठाती थी लेकिन अब करीब डेढ साल से यह सारे कैमरे बंद पड़े हैं और शोपीस बनकर पोल्स पर टंगे हुए हैं।
ई.ओ. से कैमरे ठीक करवाने के लिए मीटिंग करूंगा
नए ट्रैफिक इंचार्ज राजिंदर सिंह से जब इस बारे में बात की गई तो उन्होंने कहा कि उनको ज्वाइन किए तीन दिन हुए हैं और उनको भी यह बात पता चली है कि शहर का एक भी सी.सी.टी.वी. कैमरा ठीक काम नहीं करता।
उनके स्टाफ ने यह भी बताया कि कई बार पहले इंचार्ज लिख चुके हैं। अब वह खुद ई.ओ. नगर काऊंसिल मनवीर सिंह गिल से जाकर मिलेंगे। ई.ओ मनवीर गिल का कहना है कि फ्लाइओवर को छोड़कर बाकी 8 सी.सी.टी.वी. कैमरे काऊंसिल ने लगवाए हैं।
मैंने खुद 6 बार ई.ओ. को कैमरे ठीक करवाने के लिए पत्र लिखे
पूर्व ट्रैफिक इंचार्ज मनफूल सिंह ने बताया कि वह करीब 6 महीने जीरकपुर में ट्रैफिक इंचार्ज के पद पर रहे हैं और उन्होंने 6 बार ई.ओ. को कैमरे ठीक करवाने के लिए पत्र लिखे। साथ में बताया कि यह लाखों रुपए के कैमरे मात्र शोपीस बने हुए हैं।
यदि इनका फायदा उठाना है तो इनको ठीक करवाया जाए, क्योंकि यह कैमरे डिमांड पर एम.सी. ने लगाए थे। इन्हें मेंटेन करने की जिम्मेदारी भी काउंसिल की ही बनती है।