Edited By bhavita joshi,Updated: 13 Oct, 2018 11:42 AM
पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज (पैक) के डायरैक्टर का पद भरने के लिए विभिन्न आई.आई.टी., एन.आई.टी., सभी राज्यों के टैक्नीकल प्रिंसिपल सैक्रेटरी से इच्छुक उम्मीदवारों से आवेदन मांगे गए हैं।
चंडीगढ़(रश्मि) : पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज (पैक) के डायरैक्टर का पद भरने के लिए विभिन्न आई.आई.टी., एन.आई.टी., सभी राज्यों के टैक्नीकल प्रिंसिपल सैक्रेटरी से इच्छुक उम्मीदवारों से आवेदन मांगे गए हैं। इच्छुक 20 से 25 अक्तूबर तक आवेदन कर सकते हैं। जब कि किसी उम्मीदवार की डायरैक्टर के पद पर नियुक्ति नहीं होती, तब तक इस पद का कार्यभर पैक के डिप्टी रजिस्ट्रार संभालेंगे।
बता दें कि प्रो. मनोज के. अरोड़ा को उनकी ड्यूटी से चंडीगढ़ प्रशासन की ओर से रीलिव कर दिया गया है। वह 15 अक्तूबर से पैक में काम नहीं करेंगे। पैक के डायरैक्टर पद को भरने की जिम्मेदारी चंडीगढ़ प्रशासन की है। प्रशासन ने इस पद भरने की कवायद शुरू कर दी है। पिछली बार पैक के डायरैक्टर पद की सिलैक्शन के समय इस पदको भरने के विज्ञापन नहीं निकाला गया था। प्रो. मनोज के.अरोड़ा की नियुक्ति हुई तो उनकी नियुक्ति को एक अन्य प्रोफैसर ने चैलेंज कर दिया था।
डायरैक्टर और रजिस्ट्रार पदों की भर्ती में विवाद
पैक के डायरैक्टर पद पर विवाद के साथ-साथ पैक के रजिस्ट्रार की भर्ती पर इसी तरह का विवाद चल रहा है। हाल ही हुए साक्षात्कार के बाद शार्टलिस्ट उम्मीदवारकी नियुक्ति नहीं की गई। शार्टलिस्ट उम्मीदवार ने केस डाल दिया था। केस कोर्ट में अभी पैडिंग है। नए रजिस्ट्रार की नियुक्ति का मामला नए डायरैक्टर की नियुक्ति के बाद सुलझ सकता है।
विवाद के चलते डा. मनोज के. अरोड़ा ने दिया था इस्तीफा
सांसद किरण खेर ने एम.एच. आर.डी. को प्रो. डा. मनोज के. अरोड़ा द्वारा की जा रही पावर मिसयूज और भ्रष्टाचार को लेकर पत्र लिखा था, जबकि डायरैक्टर मनोज के.अरोड़ा को पांच साल की एक्सटैंशन मिल गई थी। इस विवाद के चलते डा. मनोज के. अरोड़ा ने खुद ही अपने पद से इस्तीफा दे दिया था।