Edited By Niyati Bhandari,Updated: 20 Mar, 2020 09:15 AM
आप दिनेश दोशी से मिलोगे तब आप यह कभी भी महसूस नहीं करोगे कि उनकी आयु 85 वर्ष की है। उनके चेहरे से उम्र नहीं झलकती। आखिर इसका सीक्रेट क्या है? पिछले 30 वर्षों से दोशी यूरिन थैरेपी अपना रहे हैं।
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आप दिनेश दोशी से मिलोगे तब आप यह कभी भी महसूस नहीं करोगे कि उनकी आयु 85 वर्ष की है। उनके चेहरे से उम्र नहीं झलकती। आखिर इसका सीक्रेट क्या है? पिछले 30 वर्षों से दोशी यूरिन थैरेपी अपना रहे हैं। वह फुल टाइम यूरिन थैरेपिस्ट के तौर पर अपनी सेवाएं भी दे रहे हैं। इसके माध्यम से वह लोगों का उपचार भी कर रहे हैं इसके लिए वह एक पैसा भी नहीं लेते क्योंकि उनका कहना है कि यह उनका जुनून है, व्यवसाय नहीं। पेशे से एक कारोबारी कोलकाता तथा चेन्नई में रहने के बाद मुम्बई में शिफ्ट हुए हैं। रिटायरमैंट के बाद वह पार्टटाइम स्टॉक ट्रेडर के तौर पर काम कर रहे हैं। अपना ज्यादातर समय यूरिन थैरेपी पर शोध करने तथा पढऩे पर बिताते हैं। इसके तहत उन्होंने कई प्रयोग भी किए हैं।
यूरिन थैरेपी के लिए वह भारत के दिवंगत प्रधानमंत्री मोरारजी देसाई को आदर्श मानते हैं। उल्लेखनीय है कि मोरारजी देसाई इस थैरेपी का प्रयोग करते रहे हैं। दोशी ने मोरारजी देसाई के एक साक्षात्कार से इस थैरेपी जिसे कि शिवांबू भी कहा जाता है, के बारे में सीखा। जब उन्होंने 30 साल पूर्व इसको अपनाया तो उन्होंने अपने शरीर में चमत्कारिक बदलाव पाया। इससे वह फिट तथा ऊर्जा से भरे दिखे। उनका मानना है कि वह कभी भी बीमार नहीं पड़े।
यूरिन थैरेपी के भरोसे उन्होंने अपने स्वास्थ्य बीमा को भी नकार दिया। पिछले 3 दशकों के दौरान उन्हें स्वास्थ्य संबंधी कोई बीमारी नहीं हुई। जब उनसे कोरोना वायरस जैसी घातक बीमारी के बारे में सवाल किया तो उन्होंने कहा कि उनका मानना है कि यदि आप प्रत्येक सुबह एक गिलास अपना पेशाब पीएंगे तो कोरोना वायरस आपको नुक्सान नहीं पहुंचाएगा।