Edited By Lata,Updated: 17 Jan, 2021 12:15 PM
आचार्य चाणक्य की नीतियों को आज के समय में भी याद किया जाता है। कहते हैं
आचार्य चाणक्य की नीतियों को आज के समय में भी याद किया जाता है। कहते हैं कि अगर कोई इनकी नीति को अपना लेता है तो उसका जीवन सफल हो जाता है। ऐसे ही चाणक्य ने अपनी एक नीति में बताया है कि औरतों का सम्मान करना बहुत जरूरी होता है। क्योंकि हमारे शास्त्रों में भी कहा गया है कि जो लोग स्त्री का सम्मान नहीं करते, वहां देवता निवास नहीं करते हैं।
श्लोक
न स्त्रीरत्नसमं रत्नम्।
सती-साध्वी और पवित्र स्त्रियां राष्ट्र का गौरव होती हैं। कहा भी जाता है ‘यत्र नार्यास्त पूज्यन्ते तत्र रमन्ते देवता’। जहां स्त्रियों की पूजा की जाती है, वहां देवता निवास करते हैं।
सुदुर्लभं रत्नम्।
भाव यही है कि इस संसार में श्रेष्ठ नर रत्नों और सती नारियों की प्राप्ति अत्यंत दुर्लभ है, फिर भी खोजने पर विद्वान और सच्चरित्र लोगों की प्राप्ति संभव है। आज के बदलते युग में ऐसे विद्वान व्यक्तियों का मिलना बहुत ही मुश्किल है।