Edited By ,Updated: 18 Mar, 2017 08:13 AM
वास्तु शास्त्र के अनुसार घर की हर वस्तु हमें पूरी तरह प्रभावित करती है। घर की दीवारों का रंग भी हमारे विचारों और कार्यप्रणाली को प्रभावित करता है। हमारे घर का जैसा रंग होता है, उसी रंग के
वास्तु शास्त्र के अनुसार घर की हर वस्तु हमें पूरी तरह प्रभावित करती है। घर की दीवारों का रंग भी हमारे विचारों और कार्यप्रणाली को प्रभावित करता है। हमारे घर का जैसा रंग होता है, उसी रंग के स्वभाव जैसा हमारा स्वभाव भी हो जाता है। इसी वजह से घर की दीवारों पर वास्तु के अनुसार बताए गए रंग ही रखना चाहिए। रंग-बिरंगे पर्दे भी घर की सजावट और इंटीरियर में पॉजीटिव एनर्जी बनाए रखते हैं। पर्दों का चयन करने से पूर्व ध्यान रखें, वास्तु के कुछ सुझाव। जिनका अनुकरण करने से विभिन्न समस्याओं का हल अपने आप होने लगता है। हर दिशा में अलग-अलग रंग के पर्दे लगाएं
घर की पूर्व दिशा में जितने भी कमरे हैं, वहां हरे रंग के पर्दे लगाएं। ऐसा करने से पारिवारिक सदस्यों की आय में वृद्धि होती है।
पश्चिम दिशा के कमरों में सफेद रंग के पर्दे लगाएं, बैड लक का नाश होता है और गुड लक का साथ मिलता है।
उत्तर दिशा में जो रूम पड़ते हैं, वहां नीले रंग के पर्दें लगाएं, घर में भरेगा धन ही धन।
दक्षिण दिशा के कोनों में जो कमरे स्थित हैं, वहां प्यार के प्रतीक लाल रंग के पर्दे लगाएं। इससे पारिवारिक सदस्यों में प्रेम और अपनापन बढ़ेगा।
किस कमरे में करवाएं कौन-सा रंग?
बेडरूम: पिंक, लाइट ब्लू, क्रीम, येलो और लाइट ग्रीन कलर बेडरूम के लिए काफी अच्छा होता है। बेडरूम में रेड कलर का यूज बिल्कुल नहीं करना चाहिए. क्योंकि वह टेंशन देता है।
डायनिंग रूम: डायनिंग रूम में लाइट कलर काफी अच्छे माने जाते हैं। पिंक, लाइट ग्रीन, आसमानी, ऑरेंज, क्रीमी रंग ताजगी का अहसास कराते हैं।
गेस्ट रूम: गेस्ट रूम को हमेशा अलग-अलग विचार वाले लोग इस्तेमाल करते है. इसलिए गेस्ट रूम में हमेशा हल्के कलर का यूज करना चाहिए।
किचन: किचन में लाइट कलर ही यूज किए जाते हैं। किचन के लिए सफेद रंग सर्वश्रेष्ठ माना जाता है। फिर भी आप येलो, पिंक, ऑरेंज कलर का यूज कर सकते है, हालांकि मॉड्यूलर किचन में कलर के लिए जगह बहुत नहीं मिलती है।