Edited By Lata,Updated: 09 Jun, 2019 03:18 PM
हिंदू धर्म में 33 कोटि के देवी-देवता की पूजा की जाती है और सभी के स्वरूप का अलग-अलग महत्व होता है।
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हिंदू धर्म में 33 कोटि के देवी-देवता की पूजा की जाती है और सभी के स्वरूप का अलग-अलग महत्व होता है। ये बात तो सब जानते ही हैं कि हर दिन किसी न किसी देवी-देवता की पूजा को समर्पित होता है, ठीक उसी तरह अपनी मनोकामना के अनुसार व्यक्ति को उसी भगवान की पूजा करने से सकरात्मक फल मिलते हैं। कहते हैं कि वैसे तो सच्चे मन से अगर किसी भी भगवान की पूजा की जाए तो व्यक्ति को मनवांछित य़फल की प्राप्ति होती है। तो आइए जानते हैं इसके बारे में विस्तार से।
अगर आप अपने शादीशुदा जीवन से परेशान है या विवाह में बाधा आ रही हो तो शिव-पार्वती, लक्ष्मी-विष्णु, सीता-राम, राधा-कृष्ण, श्रीगणेश की पूजा करनी चाहिए। कहते हैं कि इससे आपसी प्रेम बढ़ता है और इनकी आराधना करने से व्यक्ति के जीवन में खुशहाली आती है।
घर में किसी ततरह की धन संबंधी परेशानी हो रही हो तो देवी महालक्ष्मी, कुबेर देव, भगवान विष्णु की पूजा करनी चाहिए। ऐसा माना जाता है कि इनकी पूजा से व्यक्ति फिर से धन-धान्य से पूर्ण हो जाता है।
कई बार ऐसा होता है कि व्यक्ति मेहनत तो बहुत करता है लेकिन उसे उसका फल नहीं मिल पाता है। तो ऐसे में अगर पूरी मेहनत के बाद भी असफलता मिलती है तो किसी भी काम की शुरूआत श्रीगणेश की पूजा के साथ करनी चाहिए, इससे सफलता जरूर हाथ लगती है।
अनजाना भय सता रहा है, मन अशांत है तो हनुमानजी का ध्यान करें। पति-पत्नी बिछड़ गए हैं और काफी प्रयासों के बाद भी मिलने का योग नहीं बन रहे हैं तो श्रीराम भक्त बजरंग बली की पूजा करनी चाहिए। सीता और श्रीराम का मिलन भी हनुमानजी की मदद से ही हुआ था। इसीलिए इनकी पूजा से वैवाहिक जीवन की सभी समस्याएं भी दूर हो जाती हैं।
कई बार ऐसा होता है कि बच्चे पढ़ते तो हैं, लेकिन उन्हें उतने अंक नहीं मिल पाते हैं, तो ऐसे में शिक्षा से संबंधित परेशानियों को दूर करने के लिए मां सरस्वती का ध्यान करें। उनकी आराधना करने से बच्चों को बल, बुद्धि, विद्या के प्राप्त होती है।