Edited By Niyati Bhandari,Updated: 07 Jan, 2021 07:53 AM
पौराणिक मान्यताओं के अनुसार मकर संक्रांति सूर्यदेव के मकर राशि में गोचर करने पर मनाई जाती है। ऐसा माना जाता है कि मकर संक्रांति के दिन सूर्यदेव अपने पुत्र शनिदेव के घर जाते हैं। इस दिन सूर्यदेव
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When is Makar Sankranti celebrated: पौराणिक मान्यताओं के अनुसार मकर संक्रांति सूर्यदेव के मकर राशि में गोचर करने पर मनाई जाती है। ऐसा माना जाता है कि मकर संक्रांति के दिन सूर्यदेव अपने पुत्र शनिदेव के घर जाते हैं। इस दिन सूर्यदेव मकर राशि में जाते हैं। शनिदेव को मकर और कुंभ राशि का स्वामी माना जाता है। इस कारण से यह दिन पिता और पुत्र के मिलन को दर्शाता है। इस दिन सूर्यदेव की पूजा का भी विधान है। पौष मास में मनाए जाने वाले इस पर्व में माघ मास का भी शुभारंभ हो जाता है। इस बार मकर संक्रांति का पुण्य काल आठ घंटे का रहेगा। सुबह 8.30 बजे से शाम 5.46 तक मकर संक्रांति का पुण्य काल रहेगा।
What is Makar Sankranti 2021: यह त्योहार एक धार्मिक उत्सव के साथ-साथ नई फसल और नई ऋतु के आगमन के लिए मनाया जाता है। यहां यह भी महत्वपूर्ण बात है कि मकर संक्रांति की तारीख हर साल एक ही दिन 14 जनवरी को ही मनाई जाती है लेकिन इस बार मकर संक्रांति पर पांचों ग्रहों का यह दुलर्भ योग बनने जा रहा है। इसके अलावा माघ मेले के स्नान को लेकर भी अनोखा संयोग बना है। दरअसल, माघ मेला के छह स्नान पर्व में चार स्नान पर्व गुरुवार को ही पड़ रहे है, यह भी बहुत शुभ बात है।
Magh Mela Snan 2021: आपकी जानकारी के लिए यह बता दें की माघ मेले का पहला स्नान 14 जनवरी को पड़ रहा है जो गुरुवार को मकर संक्रांति के साथ शुरू हो जाएगा। इसके अलावा 28 जनवरी की पौष पूर्णिमा, 11 फरवरी की मौनी अमावस्या और 11 मार्च का महाशिवरात्रि भी गुरुवार को ही पड़ रहा है। यानी इस बार देव गुरु बृहस्पति पूरी तरह मेहरबान रहने वाले हैं।
What is the history of Sankranti : मकर संक्रांति के दिन गरीबों और जरूरतमंदों को दान देना बेहद पुण्यकारी माना जाता है। इस दिन से सभी शुभ कार्यों पर लगा प्रतिबंध भी समाप्त हो जाता है। मकर संक्रांति पर खिचड़ी बनाने , खाने और दान करने का विशेष महत्व है। इसलिए बहुत सी जगहों पर इस पर्व को खिचड़ी के नाम से भी जाना जाता है। हालांकि मकर संक्रांति को क्षेत्र के आधार पर भी मनाया जाता है। जिस प्रकार सूर्य देव के उत्तरायण होने पर उत्तर भारत में मकर संक्रांति मनाई जाती है , ठीक उसी प्रकार दक्षिण भारत में पोंगल मनाया जाता है। गुजरात में मकर संक्रांति के उत्सव को पतंगबाजी का आयोजन करके भी मनाया जाता है।
Makarsankranti Muhurat: मकर संक्रांति के दिन किसी पवित्र नदी में स्नान करना भी शुभ बताया गया है। यदि आप किसी पवित्र नदी में स्नान नहीं कर सकते हैं तो आपको घर ही पानी में तिल और गंगा जल डालकर स्नान करना चाहिए।
गुरमीत बेदी
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