शुभ समय में दूसरी बार मोदी बनेंगे प्रधानमंत्री, राजयोग में लेंगे शपथ

Edited By Niyati Bhandari,Updated: 30 May, 2019 10:39 AM

narendra modi swearing ceremony

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का शपथ ग्रहण गुरुवार शाम 7 बजे होगा और ज्योतिष के लिहाज से इस समय पर राजयोग बन रहा है। शपथ ग्रहण के समय वृश्चिक लग्र उदय हो रहा होगा और पंचमेश गुरु लग्र में बैठा है।

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प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का शपथ ग्रहण गुरुवार शाम 7 बजे होगा और ज्योतिष के लिहाज से इस समय पर राजयोग बन रहा है। शपथ ग्रहण के समय वृश्चिक लग्र उदय हो रहा होगा और पंचमेश गुरु लग्र में बैठा है। जबकि चंद्रमा पांचवें घर में विराजमान है और लग्र में बैठे गुरु की पांचवीं दृष्टि चंद्रमा पर होने के कारण राजयोग का निर्माण हो रहा है। इसके अलावा शाम के समय सूर्य आज से 24 मिनट पहले समय को गौधूलि मुहूर्त कहा जाता है। कई अशुभ योगों को दूर करने वाला यह मुहूर्त शाम 7:20 तक रहेगा। 

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हालांकि शपथ ग्रहण के समय चंद्रमा बुध के नक्षत्र रेवती में होगा और सत्ता का कारक सूर्य शुक्र की राशि में सातवें भाव में गोचर करते हुए लग्र पर दृष्टिगत होगा। रेवती को ज्योतिष में पंचक के तौर पर भी देखा जाता है। लिहाजा चंद्रमा की स्थिति ज्यादा शुभ नहीं है। संयोग से प्रधानमंत्री की अपनी कुंडली भी वृश्चिक लग्र की है और यह स्थिर लग्र माना जाता है, ऐसे में यह कुंडली मिले-जुले प्रभाव वाली बन रही है। 

सूर्य की लग्र पर दृष्टि के प्रभाव से आने वाले कुछ महीनों में सरकारी नौकरियों में तेजी आने के आसार हैं। शपथ ग्रहण के समय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और भारत की कुंडली में चंद्रमा की महादशा चल रही है और चंद्रमा पर गुरु की दृष्टि के चलते देश में उच्च शिक्षा के नए केंद्र, होटल, पार्क व दवा केंद्रों की बड़े पैमाने पर स्थापना होगी और खेल के क्षेत्र में भी बड़े फैसले लिए जा सकते हैं। 
- नरेश कुमार, जालंधर

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गुरुवार को दोपहर से ही रेवती नक्षत्र चल रहा होगा और दोपहर डेढ़ बजे से 3 बजे तक राहूकाल है। चौघडिय़ा के हिसाब से 3.55 मिनट पर अशुभ चौघडिय़ा शुरू हो रहा है और यह चौघडिय़ा 5 बजकर 55 मिनट पर चलेगा और इसके बाद शाम 7 बजकर 20 मिनट तक शुभ चौघडिय़ा रहेगा इसलिए शपथ ग्रहण के लिहाज से यह समय शुभ है। हालांकि शपथ ग्रहण के समय शनि व केतु दूसरे भाव से गोचर कर रहे होंगे और मंगल व राहू आठवें भाव से गोचर कर रहे हैं। यह स्थिति बहुत ज्यादा शुभ नहीं है। लिहाजा शपथ ग्रहण के बाद भारत में प्राकृतिक आपदा, सूखे अथवा किसी बड़ी राजनीतिक हस्ती के साथ अनहोनी के संकेत भी हैं।
 -भारती गुप्ता, बागवाली गली, लुधियाना

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