Edited By Niyati Bhandari,Updated: 09 Apr, 2018 11:41 AM
जिस परिवेश में हम रहते हैं, उसमें सकारात्मक और नकारात्मक शक्तियों का वास होता है। यह व्यक्ति पर निर्भर करता है की वो अपने आस-पास कैसा माहौल बना कर रखता है। अच्छी आदतों से सकारात्मकता भरा वातावरण बनता है। जिससे दैवीय कृपा प्राप्त होती है। जो हर हाल...
जिस परिवेश में हम रहते हैं, उसमें सकारात्मक और नकारात्मक शक्तियों का वास होता है। यह व्यक्ति पर निर्भर करता है की वो अपने आस-पास कैसा माहौल बना कर रखता है। अच्छी आदतों से सकारात्मकता भरा वातावरण बनता है। जिससे दैवीय कृपा प्राप्त होती है। जो हर हाल में व्यक्ति की ढाल बनकर खड़ी रहती हैं और उस पर किसी भी तरह की आंच नहीं आने देती। बुरी आदतों से नकारात्मकता हावी होकर दिलों-दिमाग पर अपना कब्जा कर लेती है। जिससे आए दिन कोई न कोई परेशानी अपना सिर उठाए रखती है। रोग, असफलता और टेंशन से व्यक्ति त्रस्त हो जाता है। बुरी शक्तियों को आकर्षित करती हैं ये आदतें, बचें इनके प्रभाव से-
बड़े-बुजुर्गों का कहना है, सूर्यास्त के बाद महिलाओं को बाल नहीं खोलने चाहिए। विशेष तौर पर अमावस और पूर्णिमा के दिन अथवा उनके आस-पास। मान्यता है कि ऐसा करने से नकारात्मक शक्तियां अपनी गिरफ्त में ले लेती हैं।
परफ्य़ूम, इत्र और तेज गंध वाली वस्तुएं रात के समय इस्तेमाल नहीं करनी चाहिए। इनकी ओर आत्माओं का विशेष रूझान होता है। अकसर जादू-टोना और आत्माओं को निमंत्रण देने के लिए लोबान और तेज गंध वाली वस्तुओं को प्रयोग किया जाता है।
मृत शरीर को दफनाने अथवा जलाने के बाद श्मशान में पीछे मुड़कर नहीं देखा जाता। ताकि उन्हें पता रहे संसारिक लोग अब उन्हें भूल चुके हैं। उन्हें भी इस लोक से अपना नाता तोड़ पितरों के लोक में जाना होगा। मृत व्यक्तियों की स्मृतियों को भुल जाने में ही भलाई है अन्यथा उनका मोह संसार से नहीं जाता।
आत्मा नया शरीर पाने के लिए गर्भवती महिलाओं पर नजर गड़ाए रखती है। आधी रात को उन्हें घर से नहीं निकलना चाहिए।
रोग ग्रस्त शरीर की ओर आत्माएं आकर्षित होती हैं। बीमार होने पर भी जिस व्यक्ति का आत्मबल मजबूत है उस पर किसी भी तरह की नकारात्मकता हावी नहीं होती।
शारीरिक साफ-सफाई न रखने वाला नकारात्मक शक्तियों को निमंत्रण देता है।
जिन स्थानों पर ताजी हवा, धूप और दीप नहीं दिखाया जाता, वे आत्माओं के प्रभाव में जल्दी आ जाते हैं।
विशेष- नकारात्मकता से बचने के लिए घर के मंदिर और तुलसी पर प्रतिदिन दीपक लगाएं।