Edited By Jyoti,Updated: 30 Aug, 2019 11:27 AM
अगले महीने की 1 तारीख़ को हरतालिका तीज का पर्व मनाया जाएगा। जैसे कि अपने आर्टिकल्स में पहले भी आपको बता चुके हैं।
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अगले महीने की 1 तारीख़ को हरतालिका तीज का पर्व मनाया जाएगा। जैसे कि अपने आर्टिकल्स में पहले भी आपको बता चुके हैं। हरियाली तीज, कजरी तीज व करवा चौथ के जैसे ही ये कठिन व्रत पति की लंबी उम्र के लिए व मनचाहा वर पाने के लिए किया जाता है। मुख्य रूप से यह बिहार, उत्तर प्रदेश, राजस्थान और मध्य प्रदेश में मनाया जाता है। इसके अलावा कर्नाटक, तमिलनाडु और आंध्र प्रदेश में इस व्रत को "गौरी हब्बा" के नाम से मनाया जाता है।
बता दें हिन्दू कैलेंडर के अनुसार हरतालिका तीज भाद्रपद महीने की शुक्ल पक्ष की तृतीया को मनाई जाती है। जो गणेश चतुर्थी से एक दिन पहले आती है। हिंदू धर्म में मनाए जाने वाले हर त्यौहार से जुड़ी कुछ नियम आदि है जिनका व्रत व पूजा आदि के दौरान ध्यान रखना बहुत ज़रूरी होता है। इसी कड़ी को जोड़ते हुए हम आपको बताने जा रहे हैं हरतालिका तीज से जुड़ी कुछ खास बातें जिनका इस दिन व्रत रखने व न रखने वाली दोनों प्रकार की महिलाओं के लिए ज़रूरी है। ज्योतिष विशेषज्ञों का मानना है अगर इन बातों का ध्यान न रखा जाए तो इसका अंजाम बहुत बुरा हो सकता है। आइए जानतें है क्या वो खास नियम आदि-
इस दिन जो महिलाएं व्रत रखती हैं वो भी और जो नहीं रखती वो भी अपने गुस्से पर काबू रखें। मान्यताओं के अनुसार तीज के दिन हाथों में मेंहदी इसलिए ही लगाई जाती है कि ताकि मन शांत और ठंडा रहे।
इस व्रत को रखने वाले महिलाओं को हरतालिका तीज की रात सोना नहीं चाहिए। मान्यता है इस दिन इन्हें पूरी रात जगकर अन्य महिलाओं के साथ मिलकर भजन कीर्तन करना चाहिए। ऐसा कहा जाता है जो महिला इस रात की नींद लेती है वो अगले जन्म में अजगर के रूप में जन्म पाती हैं।
घर के बुजुर्गों को किसी भी तरह से नुकसान न पहुंचाएं। ऐसा कुछ न करें जिससे उन्हें दुख हो। इससे अशुभ फल प्राप्त होता है। वैसे ये न केवल इस एक दिन बल्कि कभी भी घर के बड़े-बुजुर्गों को तंग नहीं करना चाहिए। कहा जाता है इससे भगवान नाराज़ होते हैं।
कुछ महिलाएं निर्जला व्रत के दौरान रात को दूध पी लेती हैं। उनके बारे में मान्यता है ऐसी महिलाएं अगल जन्म में उन्हें सर्प का रूप प्राप्त होता है।