Edited By pooja,Updated: 19 May, 2018 02:56 PM
CSE बोर्ड ने कक्षा 10वीं के नतीजे 5 दिन पहले जारी हो गए थे। वहीं नतीजे आने के बाद एक छात्र अपने काबलियत के कारण चर्चा में हैं। दरअसल, 16 साल के लिरॉन
नई दिल्ली ICSE बोर्ड ने कक्षा 10वीं के नतीजे 5 दिन पहले जारी हो गए थे। वहीं नतीजे आने के बाद एक छात्र अपने काबिलियत के कारण चर्चा में हैं। दरअसल, 16 साल के लिरॉन डी सिल्वा जन्म से ही कंस्ट्रक्शन बैंड सिंड्रोम नामक बीमारी से ग्रस्त हैं। इस बीमारी के कारण उनके सीधे हाथ की तीन उंगलियों का विकास नहीं हुआ। जिस वजह से वह सिर्फ अंगूठे और छोटी उंगली की मदद से ही लिखते- पढ़ते हैं।
लिरॉन काफी पॉजिटिव एटिट्यूड वाले हैं, जो आम लोगों में कम ही दिखाई देता है। अपनी इस कमी के बावजूद आज उन्होंने ICSE बोर्ड के कक्षा 10वीं की परीक्षा में 90.33 प्रतिशत मार्क्स हासिल किए हैं। बता दें, लिरॉन ने गणित विषय में 99 और सोशल साइंस में 97 मार्क्स हासिल किए हैं।
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार लिरॉन डी सिल्वा ने बताया कि मेरे लिए ये सब कुछ मैनेज कर पाना इतना आसान नहीं था। अंगूठे और छोटी उंगली की मदद से लिखते समय कई दिक्कतों का सामना करना पड़ता था। वहीं मैं अपना पेपर खुद लिखना चाहता था। उन्होंने कहा दूसरों को लिखने के लिए समझाना एक कठिन काम है। इसलिए लिखने की लगातार प्रैक्टिस करता रहा और अब भी करता हूं।
गौरतलब है कि लिरॉन की मां लिनेट डी सिल्वा ने एक लेटर के जरिेए बोर्ड को लिरॉन की परेशानी के बारे में बताया। जब बोर्ड को लिरॉन की परेशानी के बारे में मालूम चला था तो उन्हें एक्सट्रा समय देने का फैसला किया। लिरॉन को परीक्षा में डेढ़ घंटे ज्यादा का समय दिया गया।