मिशन एडमिशन : स्कूलों में दाखिले को लिए आधार कार्ड सेंटर पर धक्के खा रहे पैरेंट्स

Edited By Punjab Kesari,Updated: 15 Jan, 2018 01:36 PM

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निजी स्कूलों में अपने बच्चे का दाखिला  नर्सरी में कराना अभिभावकों के लिए किसी युद्ध को जीतने से कम नहीं है। नर्सरी में ...

नई दिल्ली : निजी स्कूलों में अपने बच्चे का दाखिला  नर्सरी में कराना अभिभावकों के लिए किसी युद्ध को जीतने से कम नहीं है। नर्सरी में दाखिले के लिए आवेदन फॉर्म भरने से लेकर दाखिला मिलने तक अभिभावकों को हर मोर्चे पर परीक्षा देनी होती है। वहीं इस बार कई स्कूलों द्वारा जनरल में भी आधार को अनिवार्य करने की वजह से अभिभावकों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। जबकि ईडब्ल्यूएस वर्ग में दाखिले के लिए पहले से ही बच्चे का आधार अनिवार्य है। अभिभावकों के आधार पर बच्चे का आवेदन तो हो जाएगा लेकिन दाखिले के वक्त बच्चे की आधार आवेदन की स्लिप अनिवार्य की गई है यानी नर्सरी दाखिला के लिए आवेदन तो करें उसके साथ ही फटाफट बच्चे का आधार कार्ड में नाम जुड़वाएं लेकिन अभिभावकों के लिए आधार बनवाना ही टेढ़ी खीर हो गया है जिसके चलते उनके बच्चों का आवेदन निराधार होता हुआ दिखाई दे रहा है। हालात यह है कि दिल्ली में आधार कार्ड बनवाने के लिए टोकन दिया जाता है जो एक महीने बाद का दिया जा रहा है जिससे अभिभावक काफी परेशान नजर आ रहे हैं। वहीं राजधानी में कई इलाके ऐसे भी हैं जहां बनाए गए आधार कार्ड सेंटर में सर्वर संबंधी समस्या पिछले कई महीनों से चल रही है।

प्रगति मैदान के आधार कार्ड सेंटर का सबसे बुरा हाल 
प्रगति मैदान के आधार कार्ड सेंटर के हालात सबसे ज्यादा बुरे हैं। यहां आधार कार्ड बनवाने के लिए रोजाना सिर्फ 150 से 200 टोकन दिए जाते हैं। इस टोकन नंबर को लेने के लिए यहां सुबह 3 बजे से ही लाइन लगनी शुरू हो जाती है जबकि सेंटर खुलने का समय 10 बजे का है। वहीं द्वारका सेक्टर-23 स्थित खाद्य एवं आपूर्ति कार्यालय, साउथ-वेस्ट डिस्ट्रिक के भीतर ही एक आधार काउंटर बनाया गया है जहां सर्वर की समस्या निरंतर बनी रहती है। ऐसा ही हाल जनकपुरी डिस्ट्रिक सेंटर, विकासपुरी, करावल नगर, बवाना व अन्य कई इलाकों का है। प्रगति मैदान के सेंटर पर अपने बेटे के नर्सरी दाखिले के लिए आधार का टोकन लेने आए तनवीर सिंह ने भावुक होकर बताया कि वो रोजाना लक्ष्मी नगर पुश्ता पुल के पास से यहां आ रहा हूं। एक हफ्ता बीत गया लेकिन अभी तक टोकन नहीं मिला तो उसका आधार कैसे बनेगा और यदि आधार आवेदन की पर्ची नहीं जमा की गई तो मेरे बेटे का आवेदन निरस्त हो जाएगा। इसी तरह हनुमान मंदिर क्नॉट प्लेस निवासी पूजा ने बताया कि वो पिछले चार रोज से रोजाना सुबह तीन बजे नंबर लगाने आ रही हैं लेकिन उन्हें टोकन नहीं मिला। जिसके चलते वो अपने बच्चे का नर्सरी कक्षा के लिए आवेदन नहीं कर पा रही हैं। 

दिल्ली के पते का आधार होना अनिवार्य 
निजी स्कूल में ईडब्लयूएस वर्ग से दाखिले के लिए आवेदन करने के लिए आधार पर दिल्ली का पता होना अनिवार्य है। ऐसे में जो अभिभावक जिनके पास बाहर के पते का आधार है ऐसे में उन्हें भी अपने आधार में बदलाव कराना पड़ रहा है। 

 

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पिता व बच्चे के आधार पर एक होना चाहिए पता 
दाखिले के लिए आवेदन करते समय पिता और बच्चे के आधार दोनो एक ही पते के होने चाहिए। ऐसे में सबसे ज्यादा परेशानी उन अभिभावकों को आ रही है जिनका अपना मकान नहीं है और दिल्ली में किराए पर रहते हैं तो पता चलता है कि पिता का आधार कार्ड पहले मकान के पते का बना हुआ है तो बेटे का नए पते का। ऐसे अभिभावकों को अब आधार पर पता बदलवाना पड़ रहा है।

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