Edited By Tanuja,Updated: 16 Oct, 2018 05:38 PM
इटली में हजारों साल पुराने एक विशाल रोमन विला के भीतर 10 साल के एक बच्चे का कंकाल मिला है। 1,500 साल पहले मर चुके इस बच्चे के कंकाल में उसका मुंह खुला दिखता है ...
रोमः इटली में हजारों साल पुराने एक विशाल रोमन विला के भीतर 10 साल के एक बच्चे का कंकाल मिला है। 1,500 साल पहले मर चुके इस बच्चे के कंकाल में उसका मुंह खुला दिखता है।साथ ही, मुंह में एक विशाल अंडे के आकार का चूना पत्थर भी मिला है। शोधकर्ताओं के मुताबिक, बच्चे के लिंग के बारे में अभी पता नहीं चल सका है, लेकिन उसकी मौत का कारण पता करने में वे कुछ हद तक कामयाब रहे हैं।
शोधकर्ताओं का कहना है कि इस समुदाय के लोगों की मौत डेढ़ हजार साल पहले संभवत: मलेरिया के भयानक प्रकोप से हुई थी। यह समुदाय उस समय तक रोम के 60 मील उत्तर में एक पहाड़ी पर छोटे मध्ययुगीन शहर में निवास करता था। बच्चे के मुंह में मिले पत्थर पर दांतों के निशान मिले हैं। पुरातत्वविदों का कहना है कि ऐसा इसलिए हुआ, क्योंकि मृत्यु के बाद उसके मुंह में जानबूझकर पत्थर डाला गया था। दरअसल, यह एक विचित्र और प्राचीन कर्मकांड है। इसके पीछे मान्यता है कि ऐसा करने से बच्चा वापस नहीं आ सकता और बीमारी भी फैलने से रुक जाती है। पुरातत्त्वविदों ने इस प्रकार की कब्रों को 'पिशाचों की कब्र' बताया है। इतालवी शहर लुग्नानो के स्थानीय लोग इसे 'लुग्नानों का पिशाच' भी कहते हैं।
एक शोधकर्ता का कहना है, "हम जानते हैं कि इस प्रकार का असामान्य उपचार आमतौर पर मरे हुए लोगों से डर को इंगित करता है। विशेष रूप से, लोगों को एक डर रहता है कि मृतक कब्र से वापस आ सकते हैं और बीमारियां फैला सकते हैं। बच्चे के मुंह में पत्थर रखना उनको अक्षम करने का प्रतीकात्मक तरीका है।" मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक यह कब्र ला नेक्रोपोली देई बाम्बिनी में बच्चों के कब्रिस्तान से मिली कब्रों में सबसे नवीनतम है। करीब डेढ़ हजार साल पहले कई रोमन बंगले इन महामारियों के चलते कब्रगाहों में तब्दील हो गए थे।