Edited By Tanuja,Updated: 27 Mar, 2023 02:49 PM

बांग्लादेश ने जिनेवा में संयुक्त राष्ट्र के समक्ष एक बार फिर 25 मार्च को विश्व जनसंहार दिवस (Word Genocide Day) के तौर पर घोषित करने की मांग की...
ढाका: बांग्लादेश ने जिनेवा में संयुक्त राष्ट्र के समक्ष एक बार फिर 25 मार्च को विश्व जनसंहार दिवस (Word Genocide Day) के तौर पर घोषित करने की मांग की है । भारत में बांग्लादेश के उप-उच्चायुक्त अंदलीब इलियास ने संयुक्त राष्ट्र में बताया कि साल 2017 से बांग्लादेश इस तारीख को जनसंहार दिवस के तौर पर मनाता आ रहा है। 25 मार्च 1971 को बांग्लादेश में पाकिस्तान की सेना ने क्रूरता की सारी हदें पार कर दी थी।
अंदलीब इलियास UN से की अपील पाकिस्तान के मुंह पर तमाचा मानी जा रही है। उप-उच्चायुक्त अंदलीब ने 1971 के नरसंहार को मान्यता देने का मुद्दा उठाते हुए कहा कि बांग्लादेश कहीं भी किए गए नरसंहार की निंदा करता है। हम नरसंहार के खिलाफ आवाज उठाना जारी रखेंगे और नरसंहार के पीड़ितों के लिए न्याय की मांग करेंगे।
बता दें कि 25 मार्च 1971 को, पाकिस्तानी सेना ने 'आपरेशन सर्चलाइट' शुरू किया, जिसमें पाकिस्तानी सेना द्वारा एक नियोजित सैन्य अभियान चलाया गया और उसकी सेना ने जानबूझकर सैकड़ों हजारों बांग्लादेशी नागरिकों को नुकसान पहुंचाया। उप दूत ने यह भी कहा कि बांग्लादेश में अंतर्राष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण (ICT) की स्थापना पाकिस्तानी सेना के सहयोगियों पर मुकदमा चलाने के लिए की गई थी, जिन्होंने नरसंहार को सुविधाजनक बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी ।