Edited By shukdev,Updated: 04 Jan, 2019 08:54 PM
दुनिया में सबसे बड़ी आबादी वाले देश चीन की जनसंख्या 2029 में 1.44 अरब के सर्वकालिक उच्च स्तर पर पहुंच जाएगी और इसके बाद 2030 से इसमें गिरावट आने लगेगी। चीन की एक शोध एवं परामर्श संस्था ने यह अनुमान व्यक्त किया है। चाइनीज एकैडमी ऑफ सोशल साइंसेज ने...
बीजिंग: दुनिया में सबसे बड़ी आबादी वाले देश चीन की जनसंख्या 2029 में 1.44 अरब के सर्वकालिक उच्च स्तर पर पहुंच जाएगी और इसके बाद 2030 से इसमें गिरावट आने लगेगी। चीन की एक शोध एवं परामर्श संस्था ने यह अनुमान व्यक्त किया है। चाइनीज एकैडमी ऑफ सोशल साइंसेज ने कहा कि चीन की आबादी कम होकर 2050 में 1.36 अरब पर और 2065 में 1.25 अरब रह जाएगी। मीडिया खबरों के अनुसार अध्ययन में यह चेतावनी भी दी गई है कि यदि प्रजनन दर मौजूदा 1.6 प्रतिशत पर बनी रही तो 2027 से ही जनसंख्या में कमी आने लग जाएगी।
विश्वबैंक का आकलन है कि 1996 के बाद से चीन की प्रजनन दर 1.6 से कम ही रही है। हालांकि, बाद में इसमें सुधार हुआ और दर 2013 में वापस 1.6 पर पहुंच गई तथा 2016 में 1.62 हो गई। प्रजनन दर से तात्पर्य प्रत्येक महिला द्वारा उसके जीवन काल में जन्म दिए जाने वाले बच्चों से है। पीपुल्स डेली पत्र के अनुसार, यदि प्रजनन दर में इस तरह का सुधार जारी रहा तो चीन की प्रजनन दर अपेक्षाकृत सुरक्षित स्तर पर पहुंच सकती है। यह खबर ऐसे समय सामने आई है जब चीन के जनसांख्यिकी विशेषज्ञों ने कहा है कि तीन साल पहले अमल में लाई गई दो बच्चों की नीति से प्रजनन दर पर कोई असर नहीं हुआ है।
विशेषज्ञों के अनुसार पिछले साल चीन में नवजात बच्चों की संख्या में 20 लाख कमी आई है और यह गिरावट जारी रहने की आशंका है। ग्लोबल टाइम्स के अनुसार, विशेषज्ञों का मानना है कि 2018 में पैदा हुए बच्चों की संख्या में गिरावट 20 लाख से भी अधिक रह सकती है। देश की जन्मदर में लगातार गिरावट बनी रह सकती है। ग्लोबल टाइम्स ने जनसांख्यिकी विशेषज्ञ ही याफु के हवाले से कहा है, ‘हालांकि नये पैदा हुए बच्चों का राष्ट्रीय आंकड़ा अभी प्रकाशित नहीं हुआ है लेकिन स्थानीय स्वास्थ्य विभागों के आंकड़ों से पता चलता है कि 2018 में पैदा हुए बच्चों की संख्या 2017 की तुलना में कम से कम 15 प्रतिशत नीचे रह सकती है।’
चीन ने जनसंख्या में कमी आने के मद्देनजर 2016 में कई दशक पुरानी एक बच्चों की नीति को खत्म कर दिया था। यह कदम तब उठाया गया जब देश में युवाओं की संख्या कम होने लगी और वरिष्ठ नागिरकों की संख्या बढऩे लगी। चीन की 140 करोड़ की आबादी में बड़ी उम्र के नागरिकों की संख्या 24.10 करोड़ तक पहुंच गई थी जो की कुल आबादी का 20 प्रतिशत से भी अधिक है। हाल की रिपोर्टों में तो यहां तक कहा गया है कि चीन अपनी जन्मदर नियंत्रण की नीति को पूरी तरह समाप्त कर सकता है और लोगों को अधिक बच्चे पैदा करने के लिए प्रोत्साहित कर सकता है।