Edited By Tanuja,Updated: 04 Jul, 2019 11:12 AM
हांगकांग को लेकर चीन और ब्रिटेन आमने सामने आ गए हैं।इस मुद्दे पर दोनों देशों के बीच जुबानी जंग तेज हो गई है...
लंदनः हांगकांग को लेकर चीन और ब्रिटेन आमने सामने आ गए हैं।इस मुद्दे पर दोनों देशों के बीच जुबानी जंग तेज हो गई है। चीन ने ब्रिटेन से साफ शबदों में कहा है कि वह हांगकांग मामले में और अधिक दखल देने से बचे तो वहीं ब्रिटेन ने चीन के राजदूत को तलब किया है। ब्रिटेन के उपनिवेश रहे हांगकांग में प्रदर्शनों के चलते लंदन और बीजिंग के बीच 22 साल पुराने ऐतिहासिक समझौते को लेकर भी तनाव फिर से पैदा हो गया है।
इस समझौते के तहत ब्रिटेन ने हांगकांग को चीन के सुपुर्द किया था। ब्रिटेन के विदेश मंत्री और प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार जेरेमी हंट ने बीजिंग को आगाह किया कि वह विरोध प्रदर्शनों को "दमन के बहाने" के रूप में इस्तेमाल न करे। उन्होंने कहा कि चीन अगर तीन दशक पहले लंदन में की गई प्रतिबद्धताओं को तोड़ देता है तो उसे "गंभीर परिणाम" भुगतने होंगे।
हंट के बयान पर पलटवार करते हुए चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गेंग शुआंग ने कहा "वह ब्रिटिश उपनिवेशवाद के फीके गौरव की कल्पना करते और अन्य देशों के मामलों में दखल देने की अपनी पुरानी बुरी आदत से मजबूर दिखाई देते हैं।" उन्होंने कहा ‘‘मैं फिर से दोहराता हूं कि हांगकांग अपनी मातृभूमि में लौट चुका है।'' ब्रिटेन में चीन के राजदूत लियू शियाओमिंग द्वारा लंदन में संवाददाता सम्मेलन बुलाये जाने से कूटनीतिक हलचल और तेज हो गई।
लियू ने कहा, "मुझे लगता है कि हांगकांग में ब्रिटेन सरकार के दखल से दोनों देशों के रिश्तों को नुकसान हुआ है। उन्होंने कहा, "उम्मीद है कि ब्रिटेन सरकार परिणामों को समझेगी और दोनों देशों के बीच संबंधों को नुकसान न हो, इसके लिये इस मामले में दखल देने से बचेगी।"