Edited By shukdev,Updated: 12 Nov, 2019 09:34 PM
भारत शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के राष्ट्रप्रमुखों की 19वीं परिषद की अगले साल मेजबानी करेगा। एससीओ के महासचिव व्लादिमिर नोरोव ने मंगलवार को इसकी जानकारी दी। भारत एससीओ में 2017 में शामिल हुआ। यह पहला मौका होगा जब भारत इसकी मेजबानी करेगा। इसके अन्य...
बीजिंग: भारत शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के राष्ट्रप्रमुखों की 19वीं परिषद की अगले साल मेजबानी करेगा। एससीओ के महासचिव व्लादिमिर नोरोव ने मंगलवार को इसकी जानकारी दी। भारत एससीओ में 2017 में शामिल हुआ। यह पहला मौका होगा जब भारत इसकी मेजबानी करेगा। इसके अन्य सदस्य देशों में पाकिस्तान, चीन, रूस, कजाखस्तान, किर्गिजस्तान, ताजिकिस्तान और उज्बेकिस्तान शामिल हैं। एससीओ के राष्ट्रप्रमुखों की 18वीं परिषद का आयोजन इस महीने की शुरुआत में ताशकंद में किया गया।
नोरोव ने इस बैठक के परिणाम के बारे में जानकारी देते हुए कहा, ‘मैं यह कहना चाहूंगा कि भारत राष्ट्रप्रमुखों की बैठक की 2020 में पहली बार मेजबानी करेगा।' ताशकंद में हुई बैठक में भारत का प्रतिनिधित्व रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने किया। नोरोव ने कहा कि सदस्य देशों ने 2020 में भारत द्वारा मेजबानी का प्रस्ताव रखा जिसे भारत ने स्वीकार किया है। उन्होंने संगठन के बारे में कहा, ‘मैं न सिर्फ यूरेशिया में बल्कि पूरे वैश्विक संदर्भ में एससीओ के बढ़ते आर्थिक महत्व को रेखांकित करना चाहूंगा।'
उन्होंने कहा,‘एससीओ के पास उच्च आर्थिक क्षमताएं हैं क्योंकि इसके सदस्य देशों में विश्व की 40 प्रतिशत आबादी रहती है। इनका एकीकृत जीडीपी 18 हजार अरब डॉलर से अधिक है जो वैश्विक जीडीपी के 22 प्रतिशत से अधिक है। वर्ष 2025 तक हिस्सेदारी के 38 से 40 प्रतिशत पर पहुंच जाने का अनुमान है।' उन्होंने कहा कि ताशकंद बैठक में एससीओ के आर्थिक विकास के लिए इसकी पूरी आर्थिक क्षमताओं के अधिकतम इस्तेमाल पर जोर दिया गया।