Edited By Tanuja,Updated: 03 Mar, 2019 05:15 PM
दुनिया के हर देश में क्राइम बढ़ता जा रहा है लेकि एक यूरोपियन देश ऐसा भी है जहां अब एक भी अपराधी ऐसा नहीं बचा, जिसे जेल भेजा जा सके। यकीन नहीं हो रहा न लेकिन ये सच है...
लंदनः दुनिया के हर देश में क्राइम बढ़ता जा रहा है लेकि एक यूरोपियन देश ऐसा भी है जहां अब एक भी अपराधी ऐसा नहीं बचा, जिसे जेल भेजा जा सके। यकीन नहीं हो रहा न लेकिन ये सच है। धरती पर एक देश ऐसा भी मौजूद है जहां की जेलें खाली पड़ी हैं । दुनिया भर के देशों की जेलों में गुंडे और अपराधी सालों जेल की सजा काट रहे हैं, लेकिन वेस्टर्न यूरोप के देश नीदरलैंड्स में घटते क्राइम की दर के मुताबिक, वहां ही जेलें बंद होने की कगार पर हैं। नीदरलैंड्स की आबादी 1 करोड़ 71 लाख 32 हज़ार से ज्यादा है। हैरानी की बात है कि नीदरलैंड्स के पास सलाखों के पीछे डालने के लिए कोई अपराधी नहीं है।
2013 में वहां केवल 19 कैदी थे। 2018 तक इस देश में कोई अपराधी नहीं बचा था। 2016 में टेलीग्राफ यूके में पब्लिश हुई रिपोर्ट के मुताबिक, नीदरलैंड्स के न्याय मंत्रालय ने सुझाव दिया था कि अगले पांच सालों में यहां हर साल कुल अपराध में 0.9 प्रतिशत की गिरावट आएगी। हालांकि नीदरलैंड्स की जेलें बंद होने पर दो तरह से महत्वपूर्ण बदलाव होंगे। सामाजिक दृष्टिकोण से देखें तो घटती अपराध दर यानी सुरक्षित देश लेकिन रोज़गार के नजरिए से देखें तो जेल में काम करने वाले बेरोज़गार हो जाएंगे। नीदरलैंड्स की जेल बंद होने का मतलब है कि वहां के लगभग दो हज़ार लोगों को नौकरी गंवाएंगे। इनमें से सिर्फ 700 लोगों को सरकार की तरफ से उपलब्ध कराई गई बाकी जगहों पर ट्रांसफर किया जाएगा। हालांकि जेलें बंद होना का अर्थ ये भी है कि नीदरलैंड्स एक देश, एक प्रणाली, एक सरकार और नागरिकों के रूप में सफल हुआ है।
वहां पर खाली जेलों का मुद्दा ऐसे बिंदु पर पहुंच गया था कि नीदरलैंड को अपनी सुविधाओं और व्यवस्था को चलाने के लिए नॉर्वे से कैदियों को मंगाना पड़ा था। वहां पर कैदियों के लिए इलेक्ट्रॉनिक एंकल मोनिटरिंग सिस्टम है। इलेक्ट्रॉनिक एंकल मोनिटरिंग सिस्टम में उनके पैर में एक ऐसी डिवाइस पहनाई जाती है, जिससे उनकी लोकेशन ट्रेस की जा सके। ये डिवाइस एक रेडियो फ्रीक्वेंसी सिग्नल भेजता है. जिसमें अपराधियों की लोकेशन का पता चलता है। यदि कोई अपराधी किसी अनुमत सीमा से बाहर जाता है तो पुलिस को सूचना मिल जाती है। ये एंकल मोनिटरिंग सिस्टम देश में अराधिक दर को आधा करने में सक्षम रही है। वहां पर कैदियों को दिन भर बंद कर के बैठाने की बजाय काम करने और सिस्टम में वापस लाने के लिए कहा जाता है।