Edited By Tanuja,Updated: 11 Apr, 2022 04:23 PM
फ्रांस की राजधानी पेरिस में ''स्टूडेंट्स फॉर ए फ्री तिब्बत-फ्रांस'' (एसएफटी-फ्रांस) समूह के छात्रों ने पांच अन्य तिब्बती संघों के साथ शनिवार को उनके देश में...
पेरिस: फ्रांस की राजधानी पेरिस में 'स्टूडेंट्स फॉर ए फ्री तिब्बत-फ्रांस' (एसएफटी-फ्रांस) समूह के छात्रों ने पांच अन्य तिब्बती संघों के साथ शनिवार को उनके देश में मार्च के महीने में हुई हत्याओं के खिलाफ चीनी दूतावास के बाहर विरोध प्रदर्शन किया। प्रदर्शनकारियों ने चीनी कम्युनिस्ट पार्टी (सीसीपी) के अत्याचारों के विरोध में पिछले महीने आत्मदाह करने वाले तीन तिब्बतियों की तस्वीरें प्रदर्शित कीं, साथ ही तिब्बतियों के चीनी दमन के खिलाफ नारे भी लगाए।
विरोध के दौरान एसएफटी-फ्रांस के अध्यक्ष धोंडुप त्सवा ने कहा कि वे सभी चीनी दूतावास के बाहर सीसीपी शासन से तिब्बत की स्वतंत्रता की मांग करने के लिए इकट्ठे हुए हैं । मीडिया रिपोर्ट के अनुसार 27 मार्च को, 81 वर्षीय तिब्बती ताफून ने कीर्ति नगाबा काउंटी में तिब्बती हित के लिए कीर्ति मठ परिसर के बाहर सार्वजनिक सुरक्षा ब्यूरो कार्यालय के सामने आत्मदाह कर लिया था । तिब्बत पर चीनी कब्जे के विरोध के रूप में 2009 से अब तक 159 तिब्बतियों ने खुद को आग लगा ली है ।
इस साल की शुरुआत में, एक लोकप्रिय गायक त्सेवांग नोरबू (25) ने 25 फरवरी को ल्हासा में पोटाला पैलेस के सामने आत्मदाह कर लिया था। तिब्बत के कायगुडो में खाम क्षेत्र के एक पुलिस स्टेशन के सामने एक अन्य तिब्बती व्यक्ति ने खुद को आग लगा ली थी। हालांकि, पिछले कुछ वर्षों में तिब्बती क्षेत्रों में सूचना नाकाबंदी तेज होने के साथ, तिब्बत से किसी भी खबर का आना और भी मुश्किल हो गया है।