Edited By Tanuja,Updated: 13 Mar, 2019 01:36 PM
वेनेज़ुएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो और देश में तैनात संयुक्त राज्य के राजनयिकों के बीच महीनों से चली आ रही खींचतान सोमवार की देर रात अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ के एक ट्वीट के साथ अचानक समाप्त हो गई..
कारकसः वेनेज़ुएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो और देश में तैनात संयुक्त राज्य के राजनयिकों के बीच महीनों से चली आ रही खींचतान सोमवार की देर रात अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ के एक ट्वीट के साथ अचानक समाप्त हो गई। अमेरिका ने वेनेजुएला से अपना आखिरी राजदूत भी वापस बुला लिया। पिछले दो महीनों से ट्रंप प्रशासन और मादुरो सरकार के बीच राजनयिक संबंध हद से ज्यादा बिगड़ने के बाद वेनेजुएला में अमेरिकी राजनयिक तनावपूर्ण स्थिति में रह रहे थे।
दरअसल अमेरिकी सरकार वेनेजुएला की नेशनल असेंबली के नेता जुआन गुएडो को देश के सही अध्यक्ष के रूप में मान्यता दे रही है, जबकि मादुरो अभी भी वेनेजुएला को नियंत्रित करते हैं। मादुरो ने 23 जनवरी को 72 घंटे के भीतर देश से निष्कासित सभी अमेरिकी राजनयिकों को आदेश दिया था लेकिन राज्य विभाग ने मादुरो के आदेश की अनदेखी की, और दूतावास को बंद करने से इंकार कर दिया था।
देश से बाहर निकलने के लिए अमेरिकी राजदूतों के लिए उन्होंने जो समय सीमा तय की थी, उससे कुछ घंटे पहले, मादुरो ने अमेरिका के साथ बातचीत के लिए 30 दिन की पेशकश की थी । वेनेजुएला को छोड़ने के लिए अमेरिकी राजनयिको दिए समय की सीमा समाप्त होने के 44 दिन बाद सोमवार रात को पोम्पिओ ने जो ट्वीट किया उससे दोनों देशों के बीच राजनयिक संबंध 20 सालों के निम्न स्तर पर पहुंच गए ।