Edited By ,Updated: 31 Jan, 2017 12:28 PM
अमरीकी राष्ट्रपति ट्रंप ने पहली बार रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के अलावा जर्मन चांसलर एंजेला मर्केल, फ्रांस के राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलोंद, ऑस्ट्रेलिया के पीएम मैलकॉम टर्नबॉल और जापानी पीएम शिंजो अबे से फोन पर बात की...
वॉशिंगटन/मेलबर्न: अमरीकी राष्ट्रपति ट्रंप ने पहली बार रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के अलावा जर्मन चांसलर एंजेला मर्केल, फ्रांस के राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलोंद, ऑस्ट्रेलिया के पीएम मैलकॉम टर्नबॉल और जापानी पीएम शिंजो अबे से फोन पर बात की। व्हाइट हाउस ने इसे अमरीका और इन देशों के बीच रिश्तों के सुधार की तरफ एक महत्वपूर्ण शुरुआत करार दिया।
ट्रंप ने पुतिन के साथ एक घंटे तक फोन पर चर्चा की।व्हाइट हाउस का कहना है कि दोनों देशों के रिश्तों को ठीक करना काफी अहम है। ट्रंप ने नाटो को अपना ध्यान रूस से हटाकर इस्लामिक खतरों पर डालने को कहा है। आगे बताया गया कि ISIS से लड़ने के लिए 30 दिन के भीतर एक नया प्लान तैयार किया जाएगा। इस प्लान का अहम हिस्सा उन सहियोगियों की पहचान होगी जो इस लड़ाई में अहम भूमिका निभा सकते हैं।
अमरीका के यूरोपिय सहियोगी ट्रंप के इस्लामिक आतंकवाद के लड़ने से लड़ने के तरीके से सहमत नहीं है। फ्रांस के राष्ट्रपति और जर्मन चांसलर ने ट्रंप के मुस्लिम देशों के नागरिकों के अमरीका प्रवेश पर बैन के फैसले का विरोध किया है। ऐसे में ट्रंप रूस को एक अहम सहियोगी के तौर पर देखते हैं।
मर्केल ने ट्रंप के इस बैन पर कहा है कि आतंकवाद के खिलाफ जरूरी और साथ ही दृढ़ लड़ाई किसी भी रूप में एक खास धर्म के लोगों के खिलाफ सामान्य संदेह को सही नहीं ठहराती और इस मामले में यह खास धर्म इस्लाम है या एक खास पृष्ठभूमि के लोग हैं। उन्होंने आगे कहा, ‘‘मेरा मानना है कि यह रुख शरणार्थियों के लिए अंतर्राष्ट्रीय मदद और सहयोग के मूल सिद्धांतों के विपरीत है।’’