Edited By rajesh kumar,Updated: 22 Feb, 2020 05:31 PM
साम्बा जिला की सीमावर्ती पंचायत पंगदौर के ग्राम सेवक रमेश चंद्र को सस्पैंड करने का मामला गर्मा गया है। अब पंचायत सरपंच रीणा चौधरी ने साम्बा में एक पत्रकार वार्ता का आयोजन करके प्रशासन पर बिना किसी जांच के ग्राम सेवक को सस्पैंड करने के मामले पर...
साम्बा(अजय सिंह): साम्बा जिला की सीमावर्ती पंचायत पंगदौर के ग्राम सेवक रमेश चंद्र को सस्पैंड करने का मामला गर्मा गया है। अब पंचायत सरपंच रीणा चौधरी ने साम्बा में एक पत्रकार वार्ता का आयोजन करके प्रशासन पर बिना किसी जांच के ग्राम सेवक को सस्पैंड करने के मामले पर प्रश्न चिन्ह लगाए। वार्ता में बोलते हुए सरपंच रीना चौधरी ने कहा कि बैक-टू-विलेज में उनकी पंचायत में एक नाला बनाने का काम आया था और उसकी निशानदही करवाने के लिए प्रशासन से कई बार अपील कर रहे थे, जबकि अब उस पैसे को दूसरी जगह शिफ्ट किया जा रहा था। इसी मामले को लेकर व तहसीलदार से मिलने गए थे ताकि जल्द से जल्दी उस जगह की निशानदही करके उसे खाली करवाया जाए ताकि वहां पर काम शुरू हो सके।
सरपंच ने कहा कि ग्राम सेवक उन्हें तहसील कार्यालय में मिल गए और उन्हें भी अपने साथ लेकर अंदर चले गए। वहां पर ग्राम सेवक ने तहसीलदार के साथ कोई बहसबाजी व बतमीजी नहीं की है। उसके सारे पंच भी गवाह है। उन्होंने कहा कि प्रशासन ने बिना वजह ग्राम सेवक पर राजनेताओं का साथ देने का आरोप लगाकर उसे सस्पैंड कर दिया। रीणा चौधरी ने कहा कि अगर पंचायत के नुमाइंदे को राजनेता की परिभाषा दी जा रही है तो लोगों के लिए विकास के काम कौन समाज सेवक करवाएगा। उन्होंने कहा कि ग्राम सेवक ने उनकी पंचायत में सिर्फ दस दिन पहले ही ज्वाइन हुए थे, लेकिन प्रशासन ने उनसे खूनस निकालने के लिए एक छोटे मुलाजिम ग्राम सेवक को बीच में घुसाकर उसे सस्पैंड कर दिया, जिसकी व पूरी तरह से निंदा करते हैं।