Edited By Niyati Bhandari,Updated: 01 Aug, 2019 10:44 AM
यात्रा रोके जाने के बाद भी जम्मू के यात्री निवास में ठहरे श्रद्धालुओं में जोश और उत्साह बरकरार था। लोगों ने बताया कि बहुत कम लोगों को बाबा बर्फानी दर्शन के लिए बुलाते हैं और वे खुशनसीब हैं जिन्हें भोले शंकर ने बुलाया है।
ये नहीं देखा तो क्या देखा (Video)
यात्रा रोके जाने के बाद भी जम्मू के यात्री निवास में ठहरे श्रद्धालुओं में जोश और उत्साह बरकरार था। लोगों ने बताया कि बहुत कम लोगों को बाबा बर्फानी दर्शन के लिए बुलाते हैं और वे खुशनसीब हैं जिन्हें भोले शंकर ने बुलाया है। भले ही यात्रा 2 दिन रुके, उन्हें किसी बात की कोई चिंता नहीं है। वे लोग बाबा बर्फानी के दर्शन को आए थे और दर्शन करके ही जाएंगे। वैसे भी लोगों को अपने जीवन में कम से कम एक बार अमरनाथ यात्रा करने की इच्छा रहती है। कोई कहता है भोले बाबा बर्फानी का दरबार मोक्ष का द्वार है। कोई कहता है हिम शिवलिंग के दर्शन मात्र से जन्म-जन्म के पाप कट जाते हैं। यही कारण है कि हर रोज हजारों की संख्या में श्रद्धालु अमरनाथ यात्रा के लिए पहुंचते हैं।
पैर नहीं हैं पर हौसले कम नहीं
जम्मू के बेस कैम्प यात्री निवास में बुधवार को महाराष्ट्र के रहने वाले एक दिव्यांग इंद्र शर्मा के हौसले को हर कोई सलाम करता नजर आया। इंद्र शर्मा के पैर नहीं हैं पर फिर भी यात्रा के लिए हजारों किलोमीटर दूर से अमरनाथ यात्रा के लिए आए हैं। इंद्र का कहना है कि इंसान को हौसला भगवान से प्राप्त होता है। मन में अगर दृढ़ इच्छा हो तो हिमालय की चोटियां भी छोटी पड़ जाती हैं। बाबा बर्फानी के दर्शन को उत्सुक इंद्र कुमार का कहना है कि बाबा भोले का दर्शन करने से उनका जीवन सफल हो जाएगा।