Edited By PTI News Agency,Updated: 22 Jul, 2020 08:51 PM
मुंबई, 22 जुलाई (भाषा) आर्थिक गतिविधियां बढ़ने के साथ ही देश के राजमार्गों पर स्थित इलेक्ट्रानिक टोल प्लाजा में टोल संग्रह धीरे धीरे फिर लॉकडाउन लागू होने से पहले के स्तर पर पहुंचने लगा है। जून माह में यह संग्रह मार्च माह के बराबर पहुंच गया...
मुंबई, 22 जुलाई (भाषा) आर्थिक गतिविधियां बढ़ने के साथ ही देश के राजमार्गों पर स्थित इलेक्ट्रानिक टोल प्लाजा में टोल संग्रह धीरे धीरे फिर लॉकडाउन लागू होने से पहले के स्तर पर पहुंचने लगा है। जून माह में यह संग्रह मार्च माह के बराबर पहुंच गया वहीं फरवरी 2020 के मुकाबले यह 75 प्रतिशत तक पहुंच गया। क्रिसिल रिसर्च ने यह जानकारी दी है।
एजेंसी के मुताबिक देशभर में राष्ट्रीय राजमार्गों में निर्माण कार्य भी तेजी पकड़ने लगा है। हालांकि, चालू वित्त वर्ष में इसके 2019- 20 के मुकाबले 10 से 13 प्रतिशत कम रहने का अनुमान है।
क्रसिल रिसर्च ने कहा है, ‘‘इलेक्ट्रानिक टोल संग्रह जून महीने में उछलकर मार्च के स्तर तक और फरवरी के 75 प्रतिशत तक पहुंच गया। कोराना वायरस महामारी ने कितना नुकसान पहुंचाया है इसका अनुमान इन आंकड़ों से लगाया जा सकता है कि फरवरी 2020 में जहां 11 करोड़ रुपये टोल संग्रह रहा था वहीं अप्रैल महीने में यह मात्र एक करोड़ रुपये रह गया।’’
कोविड- 19 महामारी की वजह से लगाये गये लॉकडाउन के कारण अप्रैल और मई माह के दौरान लोगों का और सामान का आवागमन करीब करीब पूरी तरह से बंद हो गया था। लेकिन जून से रुकावटों को धीरे धीरे हटाया जा रहा है और अर्थव्यवस्था में फिर से गतिविधियां बढ़ने लगीं हैं।
एजेंसी का कहना है कि राष्ट्रीय राजमार्गों पर मई माह में 637 किलोमीटर पर निर्माण गतिविधियां शुरू हो गई जबकि अप्रैल में यह आंकड़ा मात्र 210 किलोमीटर रहा था। हालांकि, एजेंसी ने कहा है, ‘‘निर्माण के महत्वपूर्ण महीने लॉकडाउन में निकल गये और श्रमिकों की वापसी लगातार चुभती रहेगी। अब तो मानसून के बाद ही सामान्य स्थिति होने की संभावना है। कुल मिलाकर हमें इस साल राजमार्ग निर्माण कार्यों में 10 से 13 प्रतिशत तक कमी का अनुमान है। ’’
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