Edited By ,Updated: 31 Mar, 2017 09:10 PM
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बिहार में विद्युत दर में हुई बढ़ोतरी से उपभोक्ताओं को राहत....
पटना: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बिहार में विद्युत दर में हुई बढ़ोतरी से उपभोक्ताओं को राहत देने के लिए सरकार की ओर से शुक्रवार को की गई घोषणा पर कहा कि बिजली कंपनियों की अकर्मण्यता के कारण सरकारी अनुदान देने के बावजूद राज्यवासियों को पहले के मुकाबले 1748 करोड़ रुपये का अतिरिक्त बोझ वहन करना पड़ेगा।
भाजपा विधानमंडल दल के नेता और पूर्व वित्त मंत्री सुशील कुमार मोदी ने यहां कहा कि विद्युत दर में की गई बढ़ोतरी से उपभोक्ताओं को राहत देने की सरकार की घोषणा‘खोदा पहाड़ निकली चुहिया’जैसी है। उन्होंने कहा कि बिजली कंपनियों की अकर्मण्यता का नतीजा है कि सरकार के अनुदान देने के बावजूद राज्य की जनता को 1748 करोड़ रुपए का बोझ वहन करना पड़ेगा। पिछले वर्ष की न्यूनतम दर और वर्तमान घोषित दर में 36 से 80 प्रतिशत तक की वृद्धि की गई है। पिछले 15 वर्षों में एक साथ की गई यह सर्वाधिक वृद्धि है जिसका विरोध भाजपा अपने सहयोगी दलों के साथ पूरे प्रदेश में करेगी।
श्री मोदी ने कहा कि विभिन्न श्रेणियों के उपभोक्ताओं के बिजली शुल्क में न्यूनतम 36 से लेकर 80 प्रतिशत तक की बढ़ोतरी का बोझ कुटीर ज्योति योजना अन्तर्गत गरीबी रेखा से नीचे (बीपीएल) जीवन-यापन कर रहे उपभोक्ताओं पर भी पड़ेगा जो पहले 1.70 रुपये की दर से प्रति यूनिट बिजली का भुगतान करते थे अब उन्हें 80 पैसे प्रति यूनिट की बढ़ोत्तरी के साथ 2.50 रुपए देना होगा।