Edited By Monika Jamwal,Updated: 02 Jul, 2019 06:42 PM
जम्मू कश्मीर में वर्ष 2019 की शुरूआत दुर्घटनओं के नाम रही है।
जम्मू (मोनिका जम्वाल) : जम्मू कश्मीर में वर्ष 2019 की शुरूआत दुर्घटनओं के नाम रही है। आधा साल गुजर गया है और अभी तक की बात करें तो इस आधे साल में 69 मौतें हो चुकी हैं जबकि 132 लोग घायल होकर अस्पताल में भर्ती हो चुके हैं। जी हां। जम्मू कश्मीर में जनवरी से लेकर अभी तक प्रमुख दस दुर्घटनओं में मरने वालों की संख्या 69 है।
अधिकारिक जानकारी के अनुसार पिछले 24 दिनों की ही बात करें तो पांच दुर्घटनओं में ही 55 लोगों की मौत हो गई है और 56 अन्य घायल हुये हैं। सोमवार को किश्तवाड़ के केशवन में दर्दनाक हादसे ने पूरे राज्य को हिला दिया। हादसे में 35 लोग मारे गये जबकि 17 घायल हो गये। आंकड़ों को देखें तो इतने लोग आतंकवादी घटनाओं में नहीं मारे जाते हैं जितने लोगों की मौतें जम्मू कश्मीर में विभिन्न सडक़ दुर्घटनाओं में हो जाती है।
अभी तक की प्रमुख सडक़ दुर्घटनाएं
. 1 जुलाई सांबा में सडक़ दुर्घटना में तीन लोगों की मौत और पांच घायल।
. 27 जून - शोपियां के मुगल रोड पर सडक़ दुर्घटना में बस खाई में गिरने से 11 छात्रों की दर्दनाक मौत।
. 22 जून- किश्तवाड़ में एक सडक़ दुर्घटना में 22 लोग घायल हो गये थे।
.14 जून-डोडा में सडक़ दुर्घटना में 14 लोग घायल हो गये थे।
. 8 जून- चंग ला पास लेह में गाड़ी पलटने से नौ लोगों की मौत हो गई।
. 5 जून-उधमपुर सडक़ हादसे में तीन लोगों की मौत हो गई जबकि पांच अन्य घायल हो गये।
. 30 मई को डोडा में एक सडक़ दुर्घटना में तीन लोगों की मौत और 10 अन्य घायल हो गये।
. 28 मई को राजोरी में छह लोग घायल हो गये।
यह सभी सडक़ दुर्घटनाएं पहाड़ी क्षेत्रों में हुई हैं। पुरानी गाडिय़ां तो कहीं चालक की लापरवाही लोगों की जान ले लेती है। इनमे ंएक बड़ा कारण ओवरलोडिंग भी रहती है। वहीं राजभवन की तरफ से आए एक शौक सन्देश में यह बात कही गई थी कि संबंधित विभागों को निर्देश दिये गये हैं कि सडक़ दुर्घटनाओं को रोकने के लिए उचित और कारगार उपाय किये जाएं और राज्य प्रशासनिक बोर्ड की बैठक में इस बात पर निर्णय भी लिया जाएगा।