Edited By vasudha,Updated: 26 Jul, 2019 02:20 PM
राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजीत डोभाल सीक्रेट मिशन के तहत कश्मीर दौरे पर हैं। इस दौरान वह स्थानीय प्रशासन से लेकर सेना के कई अधिकारियों से मुलाकात कर रहे हैं। हालांकि उनके अचानक कश्मीर पहुंचने की वजह साफ नहीं हो पाई है लेकिन इस बीच अनुच्छेद...
नेशनल डेस्क: राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजीत डोभाल सीक्रेट मिशन के तहत कश्मीर दौरे पर हैं। इस दौरान वह स्थानीय प्रशासन से लेकर सेना के कई अधिकारियों से मुलाकात कर रहे हैं। हालांकि उनके अचानक कश्मीर पहुंचने की वजह साफ नहीं हो पाई है लेकिन इस बीच अनुच्छेद 370 व 35ए को हटाने को लेकर अटकलें जरूर तेज हो गई है।
सूत्रों के अनुसार डोभाल बुधवार दोपहर बाद श्रीनगर पहुंचे। उन्होंने सेना, अर्द्धसैनिकबलों और विभिन्न खुफिया एजेंसियों के आला अधिकारियों के साथ अलग-अलग बैठकें की। उन्होंने राज्यपाल के सभी सलाहकारों के अलावा राज्य पुलिस महानिदेशक, अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक सुरक्षा एवं कानून व्यवस्था से भी मुलाकात की। सूत्रों के अनुसार डोभाल ने इन बैठकों में राज्य के मौजूदा राजनीतिक व सुरक्षा परिदृश्य से लेकर राज्य के विकास से जुड़े मुद्दों और शांति बहाली के उपायों पर भी विचार-विमर्श किया। इसके साथ ही उन्होंने बाबा बर्फानी के भी दर्शन किए।
बता दें कि मोदी सरकार के दोबारा सत्ता में आने के बाद अजीत डोभाल का यह पहला कश्मीर दौरा है। खबर है कि डोभाल अनुच्छेद 370 व 35ए को हटाने के मकसद से घाटी पहुंचे थे, जिससे कि वह वहां की सुरक्षा व्यवस्था का जायजा ले सकें।
क्या है अनुच्छेद 35ए
यह अनुच्छेद गैर रियासती लोगों को राज्य में अचल संपत्ति खरीदने, स्थायी तौर पर बसने और राज्य सरकार के अधीन किसी विभाग में नौकरी के अधिकार से वंचित करता है। यह अनुच्छेद राज्य विधानसभा को जम्मू-कश्मीर के नागरिकों के लिए राज्य की स्थायी नागरिकता, उनके लिए राज्य सरकार के अधीनस्थ नौकरियां व अन्य विशेषाधिकारों को यकीनी बनाने का अधिकार देता है। इस अनुच्छेद को समाप्त करने के लिए सर्वाेच्च न्यायालय में विभिन्न जनहित याचिकाएं भी विचाराधीन हैं।