Edited By Seema Sharma,Updated: 02 Sep, 2020 09:54 AM
पूर्वी लद्दाख में चीनी सेना की हिमाकत का भारत ने मुंहतोड़ जवाब दिया। इसी बीच अमेरिका की तरफ से बयान आया है। चीन की चालबाजी पर कड़ा रुख अपनाते हुए अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने कहा कि हम इसकी गहन निगरानी कर रहे हैं और शांतिपूर्ण समाधान की उम्मीद कर रहे...
नेशनल डेस्कः पूर्वी लद्दाख में चीनी सेना की हिमाकत का भारत ने मुंहतोड़ जवाब दिया। इसी बीच अमेरिका की तरफ से बयान आया है। चीन की चालबाजी पर कड़ा रुख अपनाते हुए अमेरिकी विदेश मंत्रालय ने कहा कि हम इसकी गहन निगरानी कर रहे हैं और शांतिपूर्ण समाधान की उम्मीद कर रहे हैं। वहीं अमेरिकी राजनयिक ने कहा कि चीन अपने हितों के हर मोर्चे पर लड़ाई तेज कर रहा है, इसलिए अमेरिका की रणनीति उसे हर मोर्चे पर पीछे धकेलने की है। अमेरिकी विदेश उप मंत्री स्टीफन बियेगन ने ‘तीसरे भारत-अमेरिका नेतृत्व सम्मेलन' को संबोधित करते हुए कहा कि हमारी रणनीति चीन को वस्तुत: हर क्षेत्र में वापस पीछे धकेलने की है। हम यह सुरक्षा के क्षेत्र में कर रहे हैं। हम यह पर संप्रभु इलाकों पर दावा जताने की उसकी बेमानी मांगों के संदर्भ में कर रहे हैं, चाहे भारत-चीन सीमा पर भारत की गलवान घाटी का मामला हो या फिर दक्षिण प्रशांत सागर का।''
इस सम्मेलन का आयोजन ‘अमेरिका भारत रणनीति एवं साझेदारी मंच' (यूएसआईएसपीएफ) ने किया था। उन्होंने कहा कि ट्रंप प्रशासन भी आर्थिक मामलों में यही कर रहा है। भारत में अमेरिकी राजदूत रहे रिचर्ड वर्मा से बात करते हुए बियेगन ने कहा कि राष्ट्रपति ने चीनी अर्थव्यवस्था के अनुचित और दमनकारी तौर-तरीकों के खिलाफ कार्रवाई की है और पहले चरण का व्यापार समझौता (इस दिशा में) बस पहला कदम है। बता दें कि 29-30 की रात को चीन ने पैगोंग झील के दक्षिण में घुसपैठ की कोशिश की लेकिन भारत ने इसका मुंहतोड़ जवाब दिया और चीनी सैनिकों को भागने पर मजबूर कर दिया।