Edited By Anil dev,Updated: 31 Oct, 2019 12:03 PM
असम में कामरूप जिले में एक सदियों पुराने बरगद के पेड़ के नीचे एक मुस्लिम दिन में 5 बार ‘अजान’ पेश करता है। आप कह सकते हैं कि इसमें असाधारण क्या है? खैर, हाजी मतिबर रहमान (बड़े भाई) फूल चढ़ाने के बाद यहां एक शिवलिंग की भी पूजा करते हैं।
रंगमहल: असम में कामरूप जिले में एक सदियों पुराने बरगद के पेड़ के नीचे एक मुस्लिम दिन में 5 बार ‘अजान’ पेश करता है। आप कह सकते हैं कि इसमें असाधारण क्या है? खैर, हाजी मतिबर रहमान (बड़े भाई) फूल चढ़ाने के बाद यहां एक शिवलिंग की भी पूजा करते हैं। नफरत के मौजूदा माहौल में असम की राजधानी दिसपुर से 45 कि.मी. की दूरी पर स्थित गांव रंगमहल साम्प्रदायिक सौहार्द की अनूठी मिसाल कायम कर रहा है।
परिवार 5 शताब्दियों से कर रहा है इसकी देखभाल
रहमान परिवार की 7वीं पीढ़ी इस प्राचीन शिव मंदिर की देखभाल कर रही है। 73 वर्षीय रहमान सुबह 5 बजे उठकर नमाज अदा करते हैं तथा इसके बाद वह मंदिर की सफाई करने के लिए पहुंच जाते हैं। उनका परिवार 5 शताब्दियों से इसकी देखभाल कर रहा है। उन्होंने बताया कि 1977 में मेरे पिता जी ने इसकी देखभाल की जिम्मेदारी मुझे सौंपी। मुझे उम्मीद है कि मेरे बाद मेरे बेटे इसकी देखभाल करेंगे।