Edited By vasudha,Updated: 26 Mar, 2020 09:35 AM
कोरोना वायरस के खिलाफ भारत द्वारा उठाए कदम सराहनीय है लेकिन सिर्फ लॉकडाउन (Lockdown) लागू करके इससे नहीं बचा जा सकता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार लोगों को राकने का फैसला अच्छा है, लेकिन कोरोना वायरस के संक्रमण (Coronavirus Infection in...
नेशनल डेस्क: कोरोना वायरस के खिलाफ भारत द्वारा उठाए कदम सराहनीय है लेकिन सिर्फ लॉकडाउन (Lockdown) लागू करके इससे नहीं बचा जा सकता है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार लोगों को राकने का फैसला अच्छा है, लेकिन कोरोना वायरस के संक्रमण (Coronavirus Infection in hindi) से बचने का समय मिलेगा या नहीं, ये नहीं कहा जा सकता। यानी की लॉकडाउन खत्म होने के बाद भी कोरोना वायरस (Coronavirus ) फिर से उभर सकता है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन के अध्यक्ष ट्रेडोस ने कहा कि भारत में अभी जो कुछ भी हो रहा है, हम उसकी तारीफ करते हैं। क्योंकि इस समय यह बेहद जरूरी है कि कोरोना वायरस के फैलने से पहले ही हम उसे खत्म कर दें। भारत का शुरूआती कदम कोरोना वायरस को दबाने और नियंत्रित करने में मददगार साबित होगा लेकिन अगर जल्द ही जरूरी उपाय न किए गए तो उससे निकलना कठिन हो सकता है।
डॉक्टर रेयान ने आगाह करते हुए कहा कि अगर कोरोना फिर से वापस आता है तो यह बड़ी चुनौती होगी क्योंकि हमारे पास अवसर बहुत कम हैं। डॉक्टर उन्होंने देश की क्षमताओं का विस्तार करने पर जोर देते हुए कहा कि भारत उन सभी चीजों को कर रहा है, लेकिन अगले चरण को टालने के लिए अन्य कई विकल्पों पर भी काम करना चाहिए। आपके पास ऐसे केस को खोजने के लिए एक प्रणाली होनी चाहिए, आपको टेस्ट करना होगा। साथ ही आपको इलाज और आइसोलेट करने की अपनी क्षमता बढ़ानी होगी।
दरअसल, लॉकडाउन से पहले कई बड़े रेलवे स्टेशनों पर एक खास वर्ग की भीड़ देखी गई। ये सभी लोग कोरोना के डर से अपने गांव और शहर लौट रहे थे। ऐसे में इस बात का अंदेशा लगाया जा रहा है कि कोरोना वायरस का संक्रमण भारत के ग्रामीण इलाकों तक पहुंच सकता है। विशेषज्ञों की मानें तो भारत अभी कोरोना के महामारी बनने से मात्र दो कदम पीछे हैं और जिस तरह के आसार बन रहे हैं उन्हें देखते हुए यह कहा जा सकता है कि भारत लॉकडाउन का निर्णय लेने में लेट हो गया। अच्छा होता कि यह फैसला एक सप्ताह पहले लिया जाता ताकि ये ग्रामीण भारत में पहुंचने से रुक जाता।