Edited By Seema Sharma,Updated: 31 Mar, 2019 10:01 AM
एंटी-मिसाइल से एक लाइव सैटेलाइट को मार गिराने के बाद भारत अंतरिक्ष में अपनी ताकत को और बढ़ाने जा रहा है। दरअसल भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) 1 अप्रैल को रक्षा अनुसंधान विकास संगठन (डी.आर.डी.ओ.) के लिए इलैक्ट्रॉनिक इंटैलीजैंस सैटेलाइट
नई दिल्ली: एंटी-मिसाइल से एक लाइव सैटेलाइट को मार गिराने के बाद भारत अंतरिक्ष में अपनी ताकत को और बढ़ाने जा रहा है। दरअसल भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) 1 अप्रैल को रक्षा अनुसंधान विकास संगठन (डी.आर.डी.ओ.) के लिए इलैक्ट्रॉनिक इंटैलीजैंस सैटेलाइट (एमिसैट) लॉन्च करने जा रहा है।
श्रीहरिकोटा के सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र के पीएसएलवी सी-45 रॉकेट से एमिसैट उपग्रह और अमेरिका तथा स्पेन समेत कई 28 देशों के उपग्रहों के प्रक्षेपित के लिए रविवार सुबह 6:27 पर इसकी उलटी गिनती शुरू हो गई है। इन उपग्रहों की लॉन्चिंग का समय सोमवार सुबह 9:27 है।
एमिसैट सैटेलाइट से जांच एजैंसियों को शत्रु देशों जैसे कि पाकिस्तान पर बाज-सी नजर रखने में मदद मिलेगी। एमिसैट सैटेलाइट का इस्तेमाल दुश्मन के राडार का पता लगाने और कम्युनिकेशंस इंटैलीजैंस और तस्वीरों को इकट्ठा करने के लिए किया जाएगा। इलैक्ट्रॉनिक सैटेलाइट सुरक्षा एजैंसियों को यह जानने में मदद करते हैं कि उस क्षेत्र में कितने सैलफोन सक्रिय हैं।