Edited By vasudha,Updated: 29 Oct, 2018 06:16 PM
सीबीआई डायरेक्टर आलोक वर्मा और स्पेशल डायरेक्टर राकेश अस्थाना के बीच का विवाद कोर्ट पहुंच गया है। छुट्टी पर भेजे गए अस्थाना को दिल्ली हाईकोर्ट ने बड़ी राहत दी है। कोर्ट ने अस्थाना की गिरफ्तारी पर एक नवंबर तक के लिए रोक लगा दी है।
नेशनल डेस्क: सीबीआई डायरेक्टर आलोक वर्मा और स्पेशल डायरेक्टर राकेश अस्थाना के बीच का विवाद कोर्ट पहुंच गया है। छुट्टी पर भेजे गए अस्थाना को दिल्ली हाईकोर्ट ने बड़ी राहत दी है। कोर्ट ने अस्थाना की गिरफ्तारी पर एक नवंबर तक के लिए रोक लगा दी है।
हाईकोर्ट ने आज अस्थाना और सीबीआई के एक अन्य अधिकारी की अर्जियों पर जवाब दाखिल नहीं करने को लेकर जांच एजेंसी पर सवाल उठाए। दोनों अधिकारियों ने इस मामले में अपने खिलाफ दर्ज प्राथमिकी रद्द करने की मांग की है। सीबीआई के वकील ने हाईकोर्ट को बताया कि जवाब देने में इसलिए देर हुई, क्योंकि केस से जुड़ी फाइलें केंद्रीय सतर्कता आयोग (सीवीसी) के पास भेजी गई हैं।
अस्थाना में अपनी याचिका में कहा था कि उनके खिलाफ दर्ज की गई एफआईआर बिल्कुल गलत है। उन्होंने हाईकोर्ट से अपने खिलाफ कोई बलपूर्वक कार्रवाई नहीं करने का निर्देश दिए जाने की भी मांग की थी। पिछली सुनवाई में कोर्ट ने उनकी गिरफ्तारी पर 29 अक्टूबर तक के लिए रोक लगा दी थी। बता दें कि अस्थाना के खिलाफ केस दर्ज होने से पहले उन्होंने सीबीआई निदेशक आलोक वर्मा पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए थे। अस्थाना ने 24 अगस्त को कैबिनेट सचिव को एक पत्र लिखा था, जिसमें उन्होंने आलोक वर्मा के खिलाफ भ्रष्टाचार के 10 मामले गिनाए थे। उन्होंने दावा किया था कि अपने खिलाफ मामले को बंद करने के लिए बाबू ने वर्मा को 2 करोड़ रुपए दिए हैं।
वहीं, इस विवाद के बीच केंद्र सरकार ने आलोक वर्मा और राकेश अस्थाना को छुट्टी पर भेज दिया। दोनों अफसरों को फोर्स लीव पर भेजे जाने के बाद उनके सीबीआई मुख्यालय स्थित दफ्तरों को भी सील कर दिया गया है। दूसरी तरफ, ज्वाइंट डायरेक्टर एम नागेश्वर राव को सीबीआई का अंतरिम निदेशक बनाया गया है। अगले आदेश तक अब सीबीआई का कामकाज एम नागेश्वर राव ही देखेंगे।