Edited By Monika Jamwal,Updated: 17 May, 2021 03:18 PM
जम्मू-कश्मीर के जनजातीय अनुसंधान एवं सांस्कृतिक प्रतिष्ठान (टीआरसीएफ) ने गुज्जर, बकरवाल, गद्दी और सिप्पी जैसी खानाबदोश जनजाति के लोगों को कोविड-19 रोधी टीका लगाने के लिए विशेष रूप से मोबाइल टीकाकरण अभियान शुरू करने की मांग की है।
जम्मू: जम्मू-कश्मीर के जनजातीय अनुसंधान एवं सांस्कृतिक प्रतिष्ठान (टीआरसीएफ) ने गुज्जर, बकरवाल, गद्दी और सिप्पी जैसी खानाबदोश जनजाति के लोगों को कोविड-19 रोधी टीका लगाने के लिए विशेष रूप से मोबाइल टीकाकरण अभियान शुरू करने की मांग की है। टीआरसीएफ के संस्थापक जावेद राही ने इसकी जरुरत पर बल देते हुए रविवार को कहा कि जंगलों में कच्चे घरों में रहने वाले इन जनजातियों के लोगों को इस महामारी के बारे में जागरुक करना आवश्यक है।
राही ने जनजाति समुदाय के लोगों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए आयोजित बैठक में कहा, "सरकार को जल्द से जल्द गुज्जर, बकरवाल, गद्दी और सिप्पी जैसी खानाबदोश जनजाति के लोगों के लिए मोबाइल टीकाकरण अभियान की शुरुआत करनी चाहिए।"
उन्होंने कहा कि कुछ ग्रामीण क्षेत्रों में इन खानाबदोश जनजातियों के कई लोग कोविड रोधी टीके को लगवाने से हिचकिचा रहे हैं। हमारा यह कत्र्तव्य है कि इन लोगों को इस महामारी को लेकर जागरुक करें और टीके की महत्ता के बारे में समझाएं।