Edited By vasudha,Updated: 23 Dec, 2019 12:33 PM
डॉक्टरों को हमारे देश में भागवान के बाद की उपाधी दी जाती है। लेकिन जब यह ही अपना काम पूरी जिम्मेदारी से न करे और लापरवाही के चलते किसी की जान चली जाए तो उसकी हत्या का जिम्मेदार कौन होगा। ऐसा ही एक मामला सामने आया तेलंगाना के नागरकुलनूल जिले का जहां...
नेशनल डेस्क: डॉक्टरों को हमारे देश में भागवान के बाद की उपाधी दी जाती है। लेकिन जब यह ही अपना काम पूरी जिम्मेदारी से न करे और लापरवाही के चलते किसी की जान चली जाए तो उसकी हत्या का जिम्मेदार कौन होगा। ऐसा ही एक मामला सामने आया तेलंगाना के नागरकुलनूल जिले का जहां डिलीवरी के दौरान डॉक्टर ने नवजात को इस तरह खींचा कि उसका सिर कटकर हाथ में आ गया और धड़ गर्भ में ही रह गया।
यह मामला 18 दिसंबर का बताया जा रहा है। जानकारी के अनुसार 23 साल की स्वाती को प्रसव पीड़ा होने पर अचाम्पेट अस्पताल में भर्ती कराया गया था। जांच के बाद डॉक्टरों ने कहा कि सबकुछ ठीक है स्वाती की नॉर्मल डिलीवरी कराई जा सकती है। महिला का आरोप है कि ड्यूटी पर मौजूद डॉक्टर सुधा रानी ने उसकी डिलीवरी की कोशिश की फिर अचानक से वो वहां से भाग गईं इसके बाद डॉक्टरों ने कहा कि महिला की स्थिति बिगड़ गई है और उसे हैदराबाद के पेट्लाबुर्ज मैटरनिटी अस्पताल में ले जाया जा रहा र्है।
डॉक्टरों ने परिजनों को यह नहीं बताया कि नवजात बच्चे का सिर धड़ से अलग हो गया है और धड़ गर्भ में ही रह गया है। मां के पेट में बच्चे के फंसे होने की स्थिति में उन्हें नागरकुलनूल से 150 किलोमीटर दूर हैदराबाद के पेट्लाबुर्ज मैटरनिटी हॉस्पिटल रेफर कर दिया।
स्वाती की हालत काफी बिगड़ने बाद उसका तुरंत ऑपरेशन किया गया और गर्भ ने सिर कटे बच्चे का धड़ बाहर निकाला। महिला के परिजनों द्वारा हंगामा करने के बाद महिला डॉक्टर को सस्पेंड कर दिया गया।