Edited By ,Updated: 21 Nov, 2016 08:23 AM
यू. टी. कैडर एजुकेशनल इम्प्लाइज यूनियन की रविवार को बैठक हुई जिसमें यूनियन के प्रधान स्वर्ण सिंह कंबोज ने बताया कि मांगों को लेकर जल्द गवर्नर व सांसद किरण खेर से मुलाकात की जाएगी ताकि कांट्रैक्ट टीचर्स के साथ हो रहे भेदभाव को खत्म किया जा सके।...
चंडीगढ़(रश्मि रोहिला) : यू. टी. कैडर एजुकेशनल इम्प्लाइज यूनियन की रविवार को बैठक हुई जिसमें यूनियन के प्रधान स्वर्ण सिंह कंबोज ने बताया कि मांगों को लेकर जल्द गवर्नर व सांसद किरण खेर से मुलाकात की जाएगी ताकि कांट्रैक्ट टीचर्स के साथ हो रहे भेदभाव को खत्म किया जा सके। उन्होंने बताया कि उनकी मुख्य मांगों में से एक सभी कर्मचारियों को 7 प्रतिशत डी.ए. देने की है।
कुछ मांगें ये हैं :
पंजाब सरकार ने 3-3 वर्ष कॉन्ट्रैक्ट पर कार्यरत टीचर्स और एम्प्लाइज को पक्का कर दिया है। वैसे ही शिक्षा विभाग और चंडीगढ़ प्रशासन में कॉन्ट्रैक्ट पर कार्यरत टीचर्स और एम्प्लाइज को पक्का किया जाए।
पंजाब, हरियाणा और हिमाचल प्रदेश से शिक्षा विभाग और चंडीगढ़ प्रशासन में डैपुटेशन पर आकर ओवर स्टे हो चुके टीचर्स और एम्प्लाइज को वापस उनके पैरेंट स्टेट भेजा जाए। शिक्षा विभाग में काम कर रहे सीनियर टीचर्स और प्रिंसिपल्स को प्रमोशन मिले।
कॉन्ट्रैक्ट कंप्यूटर टीचर्स डाटा ऑपरेटर्स, गैस्ट फकैलिटी टीचर्स और पार्ट टाइम लैक्चरर्स को पंजाब की तर्ज पर पक्का किया जाए व जल्द से समान कार्य के लिए समान वेतन भी दिया जाए।
शिक्षा विभाग और दूसरे विभागों में डी. सी. रेट (डेली वेजस) पर कार्यरत क्लास-4 एम्प्लाइज और क्लर्कों को पक्का किया जाए। मिड-डे-मिल वर्कर की सैलरी 8000/-प्रतिमाह की जाए।
शिक्षा विभाग और चंडीगढ़ प्रशासन के अभी तक जितने भी कॉन्ट्रैक्ट टीचर्स, क्लर्क और डी. सी. रेट पर काम कर रहे एम्प्लाइज को नौकरी से बाहर किया गया है उन्हें वापस नौकरी पर रखा जाए।
चंडीगढ़ प्रशासन हर नौकरी में 85 प्रतिशत कोटा यही के रहने वाले बच्चों को दे और पंजाब की तर्ज पर एम्प्लाइज की डैथ के बाद उसके वारिस को तुरंत नौकरी भी दी जाए।