Edited By vasudha,Updated: 16 Jul, 2020 04:24 PM
पाकिस्तान भारतीय नौसेना के पूर्व अधिकारी कुलभूषण जाधव के मामले पर भारत के लिए कई मुश्किलें पैदा कर रहा है। अब इसी बीच भारत ने एक बार फिर पाकिस्तान से बात करते हुए बिना रोकटोक कॉन्सुलर एक्सेस की मांग की है...
नेशनल डेस्क: भारतीय नौसेना के पूर्व अधिकारी कुलभूषण जाधव को राजनयिक पहुंच की मंजूरी मिल है। भारत ने पाकिस्तान के समक्ष बिना रोकटोक कॉन्सुलर एक्सेस की मांग उठाई दी, जिसके बाद पाक ने भारत के दो अधिकारियों को कुलभूषण से मिलने की अनुमति दी।
सूत्रों के मुताबिक भारतीय उच्चायुक्त वकीलों के साथ कुलभूषण से मिलने पहुंचे हैं। हालांकि, आधिकारिक तौर पर इसकी पुष्टि नहीं की गई है। दरअसल भारत ने पाक से कहा था कि आप कॉन्सुलर एक्सेस के दौरान बातचीत की भाषा को सिर्फ इंग्लिश नहीं कर सकते हैं। इसके साथ ही भारत चाहता है कि पाकिस्तान दो अधिकारियों को कुलभूषण जाधव से मिलने की अनुमति दे।
क्यों होती है काउंसलर एक्सेस
काउंसलर एक्सेस वह प्रक्रिया है जिसके जरिए किसी दूसरे देश में बंद नागरिक को उसके देश के दूतावास के अधिकारियों से मिलने का मौका दिया है। इसका मकसद कैदी को जरूरी या मानवीय मदद करना होता है। काउंसलर्स, किसी देश के उच्चायोग या दूतावास से हो सकते हैं। इसके तहत कानूनी सलाह और मदद दी जाती है ताकि कैदी को अपने देश में वापस जाने में संभव मदद मिल सके।
क्या है पूरा मामला
बता दें कि हाल ही में पाकिस्तान सरकार ने दावा किया था कि कुलभूषण जाधव ने रिव्यू पिटीशन दायर करने से मना कर दिया है और ये फैसला किया है कि वो अब दया याचिका के साथ आगे बढ़ेंगे। गौरतलब है कि भारतीय नौ सेना के रिटायर्ड अधिकारी कुलभूषण जाधव पाकिस्तान की जेल में बंद हैं। जाधव को पाकिस्तानी सुरक्षा बलों ने बलूचिस्तान में कथित तौर पर तोड़फोड़ और आतंकी कार्रवाई के आरोप में गिरफ्तार किया था। पाकिस्तानी सुरक्षा बलों का आरोप था कि जाधव ईरान से पाकिस्तान में जासूसी के इरादे से आया था, जबकि भारत ने इन सभी आरोपों को इनकार करता आया है।