भारती खांडेकर:अनपढ़ माता-पिता की होनहार बेटी ने परिवार को फुटपाथ से फ्लैट में पहुंचाया

Edited By Seema Sharma,Updated: 12 Jul, 2020 11:51 AM

indore bharti khandekar came first in 10th family got government flat

इंदौर की रहने वाली भारती खांडेकर (16) का नाम इन दिनों उनके संर्घष के कारण काफी सुर्खियों में हैं। इंदौर के एक फुटपाथ पर पली-बढ़ी और स्ट्रीट लाइट में पढ़ी भारती खांडेकर ने अपनी कड़ी मेहनत और संघर्ष के दम पर अपने बेघर परिवार को एक छत दिला दी। 10th...

नेशनल डेस्कः इंदौर की रहने वाली भारती खांडेकर (16) का नाम इन दिनों उनके संर्घष के कारण काफी सुर्खियों में हैं। इंदौर के एक फुटपाथ पर पली-बढ़ी और स्ट्रीट लाइट में पढ़ी भारती खांडेकर ने अपनी कड़ी मेहनत और संघर्ष के दम पर अपने बेघर परिवार को एक छत दिला दी। 10th क्लास में 68 प्रतिशत अंक लाने वाली यह होनहार छात्रा अब अपने परिवार के साथ इंदौर नगर निगम (IMC) के आवंटित फ्लैट में पहुंच गई है और उसकी आंखों में IAS अधिकारी बनने का सपना पल रहा है। शहर के भूरी टेकरी क्षेत्र के बहुमंजिला आवासीय परिसर का फ्लैट क्रमांक "C-307" भारती के परिवार का आशियाना है। 

PunjabKesari

मिला सरकारी फ्लैट
सोशल मीडिया पर इस छात्रा की कामयाबी की कहानी सामने आने के बाद सरकार की निगाह उस पर पड़ी। इसके बाद IMC ने आर्थिक रूप से कमजोर तबके के उत्थान की एक शासकीय योजना के तहत उसके परिवार को फ्लैट आवंटित किया। इस फ्लैट में एक बेडरूम, हॉल और किचन है तथा भारती के परिवार को वहां इन दिनों अपनी गृहस्थी जमाते देखा जा सकता है। भारती के माता-पिता को पढ़ना-लिखना नहीं आता लेकिन आर्थिक तंगी समेत तमाम दुश्वारियों के बावजूद उन्होंने अपनी बेटी को पढ़ाया। इस छात्रा के पिता दशरथ खांडेकर हाथ ठेला चलाकर मजदूरी करते हैं, जबकि उसकी माता लक्ष्मी एक स्कूल में साफ-सफाई का काम करते हुए परिवार का पेट पालने में मदद करती है। इस होनहार छात्रा के दो छोटे भाई-किशन और अर्जुन हैं। उसकी कामयाबी से उसका परिवार भी गदगद है।

PunjabKesari

फुटपाथ पर ही संभाला होश 
IMC की ओर से फ्लैट मिलने से पहले भारती का बेघर परिवार शहर के शिवाजी मार्केट के फुटपाथ पर रहता था। इस परिवार में 16 अप्रैल 2004 को जन्मी लड़की ने फुटपाथ पर ही होश संभाला और उसके परिवार ने शासकीय अहिल्या आश्रम विद्यालय में उसका दाखिला कराया। मुश्किल हालातो का सामना करते हुए भी भारती हारी नहीं। वह फुटपाथ पर ही स्ट्रीट लाइट की रोशनी में पूरी लगन से पढ़ाई करती। नतीजतन यह होनहार छात्रा क्लास 10 में फर्स्ट आई है। भारती ने आगे की पढ़ाई के लिए कक्षा 11 में वाणिज्य और कम्प्यूटर विषय चुना है। कुछ मददगारों ने उसके नए घर में टेबल-कुर्सी और अध्ययन से जुड़ी अन्य वस्तुओं की व्यवस्था कर दी है। इसके साथ ही उसे भरोसा दिलाया है कि वे उसकी बेहतर पढ़ाई के लिए कोचिंग क्लास की फीस का जिम्मा भी उठा लेंगे।

 

IAS ऑफिसर बनना चाहती है भारत
जीवन में आया यह बड़ा बदलाव 16 साल की इस छात्रा के लिए किसी सपने के सच होने जैसा है जिसे वह सुखद आश्चर्य के साथ चमकती आंखों से निहार रही है। अब वह भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS) अधिकारी बनने के अपने लक्ष्य को हासिल करने की दिशा में आगे बढ़ना चाहती है। उसका कहना है कि IAS अधिकारी बनकर वह गरीब लोगों की मदद करना चाहती है।

Related Story

India

397/4

50.0

New Zealand

327/10

48.5

India win by 70 runs

RR 7.94
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!