Edited By Monika Jamwal,Updated: 22 Nov, 2018 04:20 PM
नाटकीय घटनाक्रम में राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने जम्मू और कश्मीर विधानसभा को भंग कर दिया।
श्रीनगर : नाटकीय घटनाक्रम में राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने जम्मू और कश्मीर विधानसभा को भंग कर दिया। विपक्षी पार्टियां मलिक के फैसले पर सवाल उठाते हुए केंद्र में सत्तारूढ़ बीेजेपी पर हमला बोल रही है। नेशनल कांफ्रेंस, पीडीपी और कांग्रेस का कहना है कि राज्यपाल को विधानसभा भंग ही करना था तो उन्होंने पहले क्यों नहीं किया। जब महबूबा मुफ्ती ने सरकार बनाने का दावा पेश किया तो राज्यपाल ने ऐसा क्यों किया।
पीडीपी के साथ सरकार बनाने का दावा पेश करने वाली कांग्रेस ने कहा है कि महबूबा मुफ्ती को राज्यपाल के फैसले के खिलाफ कोर्ट जाना चाहिए। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और जम्मू-कश्मीर से सांसद रहे सैफुद्दीन सोज ने कहा कि पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती को इस मामले को लेकर कोर्ट जाना चाहिए। राज्यपाल ने केंद्र सरकार के इशारे पर अलोकतांत्रिक और असंवैधानिक तरीके से विधानसभा भंग की है। महबूबा मुफ्ती ने राज्यपाल को कांग्रेस और नेशनल कॉन्फ्रेंस का समर्थन मिलने के बाद ही पत्र लिखा था और राज्यपाल को सरकार बनाने का एक मौका देना चाहिए था।