पोलाची यौन शोषण मामला: CBI ने किया तीन और लोगों को गिरफ्तार

Edited By Anil dev,Updated: 06 Jan, 2021 05:10 PM

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तमिलनाडु के कोयंबटूर जिले के पोल्लाची कस्बे में 2019 में कुछ लोगों द्वारा एक युवती का यौन उत्पीड़न करने के मामले में सीबीआई ने बुधवार को अन्नाद्रमुक के एक पदाधिकारी समेत तीन लोगों को गिरफ्तार किया। इस मामले में अब तक कुल आठ लोगों की गिरफ्तारी हो...

नेशनल डेस्क: तमिलनाडु के कोयंबटूर जिले के पोल्लाची कस्बे में 2019 में कुछ लोगों द्वारा एक युवती का यौन उत्पीड़न करने के मामले में सीबीआई ने बुधवार को अन्नाद्रमुक के एक पदाधिकारी समेत तीन लोगों को गिरफ्तार किया। इस मामले में अब तक कुल आठ लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है। अन्नाद्रमुक के शीर्ष नेता ओ पनीरसेल्वम और के पलानीस्वामी ने पार्टी पदाधिकारी के. अरूलानंदम को पार्टी से बर्खास्त करने की घोषणा करते हुए कहा कि वह पार्टी के सिद्धांतों के खिलाफ चले गए। पार्टी ने आरोपी की गिरफ्तारी के कुछ घंटे बाद ही यह घोषणा की । विपक्षी पार्टी द्रमुक ने अन्नाद्रमुक के पदाधिकारी की गिरफ्तारी को लेकर सत्तारूढ़ पार्टी पर निशाना साधा है।

पुलिस ने बताया कि इन सभी आरोपियों को महिला अदालत के समक्ष पेश किया गया, जिसने इन सभी को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया। केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) इस मामले में पांच लोगों को पहले ही गिरफ्तार कर चुका है। पहले यह जांच सीबी-सीआईडी कर रही थी लेकिन अब सीबीआई के पास जांच का जिम्मा है। मई, 2019 में गिरफ्तार पांच लोगों के खिलाफ आरोप पत्र भी दाखिल किया जा चुका है। उन्होंने बताया कि आगे की जांच के बाद बुधवार तड़के सीबीआई ने सत्तारूढ़ अन्नाद्रमुक के छात्र विंग के नेता अरूलानंदम और उसके दो दोस्तों को गिरफ्तार किया। अन्नाद्रमुक ने इसी बीच उसे पार्टी के सभी पदों से बर्खास्त करने के साथ ही पार्टी की प्राथमिक सदस्यता भी छीन ली। अन्नाद्रमुक ने कहा कि उन्होंने पार्टी विरोधी गतिविधियों की वजह से पार्टी के सम्मान को ठेस पहुंचाया।

अन्नाद्रमुक के समन्वयक पनीरसेल्वम और संयुक्त समन्यवक पलानीस्वामी ने चेन्नई में एक बयान में कहा, ‘‘ हम पार्टी कार्यकर्ताओं से आग्रह करते हैं कि वे उनके साथ कोई संपर्क नहीं रखें।'' पलानीस्वामी तमिलनाडु के मुख्यमंत्री हैं जबकि पनीरसेल्वम उप मुख्यमंत्री हैं। वहीं इसी बीच विभिन्न महिला संगठनों की करीब 50 से ज्यादा सदस्यों ने अदालत के सामने प्रदर्शन करते हुए त्वरित न्याय की मांग की। इन सभी को बाद में पुलिस ने वहां से हटाया। यह मामला 2019 के फरवरी महीने में उस समय प्रकाश में आया जब 19 वर्षीय एक छात्रा ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई। छात्रा का आरोप था कि चार लोगों के एक गिरोह ने कार के भीतर उसके कपड़े उतारने की कोशिश की, इस घटना का वीडियो बनाया और उस वीडियो के आधार पर वे उसे ब्लैकमेल करने लगे। बाद में यह भी सामने आने लगा कि इस गिरोह ने लंबे समय से पोल्लाची में कई महिलाओं का यौन उत्पीड़न करके उन्हें ब्लैकमेल भी किया है।

इस पूरे मुद्दे के प्रकाश में आने के बाद लोगों ने इस पर आक्रोश व्यक्त किया, जिसके बाद तमिलनाडु सरकार ने पहले तो इस मामले की जांच को सीबी-सीआईडी पुलिस को सौंपा और बाद में सीबीआई के हवाले कर दिया। द्रमुक अध्यक्ष एम के स्टालिन ने कहा कि इस घटना से साबित होता है कि तमिलनाडु में महिलाओं की सुरक्षा नहीं है। उन्होंने कहा कि द्रमुक लंबे समय से यह दावा करती आ रही है कि कथित मामले में अन्नाद्रमुक के कई पदाधिकारी शामिल हैं और इसी वजह से पार्टी सीबीआई जांच चाहती थी। राज्य विधानसभा में विपक्ष के नेता स्टालिन ने कहा कि कोई भी दोषी बचना नहीं चाहिए। तमिलनाडु कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष के एस आलागिरी ने कहा कि इस घटना में अन्नाद्रमुक के पदाधिकारी की कथित भूमिका तमिलनाडु के लिए शर्म की बात है।

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