Edited By Yaspal,Updated: 16 Jul, 2019 10:40 PM
लोकसभा में मंगलवार रात उस समय ठहाके गूंज उठे जब कांग्रेस के एक सदस्य ने चर्चा में बेहद कम समय मिलने पर अपनी पीड़ा व्यक्त करते हुए कहा कि ‘मुझे बोलने दीजिए क्योंकि गांव में लोग पूछते हैं कि दिल्ली जाकर कहां गोल हो जाते...
नई दिल्लीः लोकसभा में मंगलवार रात उस समय ठहाके गूंज उठे जब कांग्रेस के एक सदस्य ने चर्चा में बेहद कम समय मिलने पर अपनी पीड़ा व्यक्त करते हुए कहा कि ‘मुझे बोलने दीजिए क्योंकि गांव में लोग पूछते हैं कि दिल्ली जाकर कहां गोल हो जाते हैं।'
लोकसभा में ‘वर्ष 2019-20 के लिए ग्रामीण विकास तथा कृषि और किसान कल्याण मंत्रालयों के नियंत्रणाधीन अनुदानों की मांगों' पर चर्चा में भाग लेते हुए तेलंगाना से मलकाजगिरी से सांसद अनुमाला रेवंत रेड्डी ने यह टिप्पणी उस वक्त की जब पीठासीन अध्यक्ष काकोली घोष दस्तीदार ने उन्हें तत्काल अपनी बात खत्म करने को कहा।
पीठासीन सभापति की ओर से अपनी बात जल्द खत्म करने के लिए कहे जाने पर रेड्डी ने कहा, ‘‘मैडम, बोलने दीजिए क्योंकि गांव में लोग पूछते हैं कि दिल्ली जाकर आप कहां गोल हो जाते हैं।'' उनके इस कथन पर सदन में मौजूद सदस्यों के ठहाके गुंज उठे। चर्चा के दौरान किसानों की खुदकुशी का मुद्दा उठाते हुए रेड्डी ने यह भी कहा कि दावा कि 2016 के बाद किसानों की खुदकुशी के आंकड़े जानबूझकर जारी नहीं किया गया।