Edited By Seema Sharma,Updated: 30 Sep, 2018 04:29 PM
राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) के एक अधिकारी ने आज कहा कि जिन्होंने 2015 में आवेदन जमा करवाए थे उनके अब पूर्वजों का नाम बदलने की अनुमति नहीं दी जाएगी। साथ ही उन्होंने कहा कि पहले से जमा किए जा चुके दस्तावेजों के आधार पर पात्रता के पुर्निवचार के लिए...
गुवाहाटी: राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) के एक अधिकारी ने आज कहा कि जिन्होंने 2015 में आवेदन जमा करवाए थे उनके अब पूर्वजों का नाम बदलने की अनुमति नहीं दी जाएगी। साथ ही उन्होंने कहा कि पहले से जमा किए जा चुके दस्तावेजों के आधार पर पात्रता के पुर्निवचार के लिए कोई दावा जमा किया जा सकता है या वह सूची A या सूची B के अतिरिक्त दस्तावेजों के साथ जमा किया जा सकता है, हालांकि पहले ही जमा दस्तावेजों को फिर से जमा करने की कोई जरूरत नहीं है लेकिन यदि अतिरिक्त दस्तावेज जमा कराने की जरूरत है तब सुप्रीम कोर्ट द्वारा सूचीबद्ध 10 दस्तावेजों में से कोई एक या अधिक जमा किए जाने चाहिए।
सुप्रीम कोर्ट की ही निगरानी में एनआरसी को अद्यतन किया जा रहा है। दस्तावेज की तिथि 24 मार्च 1971 से पहले की होने चाहिए जिसमें रजिस्ट्री, जमीन रिकार्ड जैसे जमीन संबंधी दस्तावेज, राज्य के बाहर से जारी स्थानीय आवासीय प्रमाणपत्र, जारी पासपोर्ट, एलआईसी पॉलिसी, लाइसेंस या प्रमाणपत्र शामिल हैं। अन्य दस्तावेजों में सरकारी या सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों, बैंक या डाकखाने में सेवा या रोजगार दिखाने वाले दस्तावेज, बोर्ड या विश्वविद्यालयों द्वारा जारी शैक्षणिक प्रमाणपत्र, अदालत से संबंधित रिकार्ड या प्रक्रिया जो कि किसी न्यायिक या राजस्व अदालत में सुनवाई का हिस्सा हों, शामिल हो सकते हैं।