Edited By rajesh kumar,Updated: 26 Apr, 2022 04:09 PM
चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर को लेकर बड़ी खबर सामने आई है। प्रशांत किशोर ने कांग्रेस पार्टी में शामिल होने से इनकार कर दिया है। पार्टी प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने इस बात की जानकारी दी है।
नेशनल डेस्क: चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर को लेकर बड़ी खबर सामने आई है। प्रशांत किशोर ने कांग्रेस पार्टी में शामिल होने से इनकार कर दिया है। पार्टी प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने इस बात की जानकारी दी है। उन्होंने ट्वीट कर बताया कि, 'प्रशांत किशोर के साथ कई दौर की वार्ता एवं प्रजेंटेशन के बाद कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी की तरफ से 2024 चुनाव के लिए एक अधिकार प्राप्त समूह का गठन किया गया है। प्रशांत किशोर को भी इसी समूह में शामिल होने जिम्मेदारियां संभालने का ऑफर दिया गया, लेकिन उन्होंने इससे इनकार कर दिया। हम उनके प्रयास और पार्टी को दिए गए सुझावों का सम्मान करते हैं।'
सुरजेवाला की इस टिप्पणी के कुछ देर बाद प्रशांत किशोर का ट्वीट
सुरजेवाला की इस टिप्पणी के कुछ देर बाद किशोर ने ट्वीट कर कहा, ‘‘मैंने विशेषाधिकार प्राप्त कार्य समूह का हिस्सा बनकर पार्टी में शामिल होने और चुनावों की जिम्मेदारी लेने की कांग्रेस की पेशकश को स्वीकार करने से इनकार किया है।'' उन्होंने यह भी कहा, ‘‘मेरी विनम्र राय है कि मुझसे ज्यादा पार्टी को नेतृत्व और सामूहिक इच्छाशक्ति की जरूरत है ताकि परिवर्तनकारी सुधारों के माध्यम से पार्टी के भीतर घर कर चुकी ढांचागत समस्याओं को दूर किया जा सके।''
पिछले कई दिनों से किशोर की ओर से दिए गए सुझावों और उनके पार्टी से जुड़ने की संभावना को लेकर कांग्रेस के भीतर लगातार मंथन हो रहा था। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने किशोर के सुझावों पर विचार के लिए गठित समिति की रिपोर्ट पर मंथन करने के बाद सोमवार को फैसला किया कि अगले लोकसभा चुनाव के लिए पार्टी को मजबूत करने और भविष्य की चुनौतियों से निपटने के मकसद से एक ‘विशेषाधिकार प्राप्त कार्य समूह- 2024' का गठन किया जाएगा।
गौरतलब है कि प्रशांत किशोर ने पिछले दिनों कांग्रेस नेतृत्व के समक्ष पार्टी को मजबूत करने और अगले लोकसभा चुनाव की तैयारियों के संदर्भ में विस्तृत प्रस्तुति दी थी। उनके सुझावों पर विचार करने के लिए सोनिया गांधी ने आठ सदस्यीय समिति का गठन किया था। सूत्रों ने बताया कि किशोर ने सुझाव दिया कि उत्तर प्रदेश, बिहार और ओडिशा जैसे कुछ राज्यों में कांग्रेस को नए सिरे से अपनी रणनीति बनानी चाहिए और इन प्रदेशों में गठबंधन से परहेज करना चाहिए। कांग्रेस सूत्रों के अनुसार, अपनी प्रस्तुति में प्रशांत किशोर ने यह भी कहा था कि कांग्रेस को लगभग 370 लोकसभा सीट पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए और महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल एवं तमिलनाडु में गठबंधन के साथ चुनाव मैदान में उतरना चाहिए।