कोरोना काल के बीच भी प्राइवेट स्कूलों को देनी होगी Annual Fees, दिल्लीHC से छात्रों को नहीं मिली राह

Edited By vasudha,Updated: 07 Jun, 2021 03:05 PM

private school annual fees delhi high court

दिल्ली उच्च न्यायालय ने निजी स्कूलों को लॉकडाउन खत्म होने के बाद की अवधि के लिए छात्रों से वार्षिक और विकास शुल्क लेने की अनुमति देने वाले एकल न्यायाधीश के आदेश पर रोक लगाने से सोमवार को इनकार कर दिया। अदालत ने आगे की सुनवाई के लिए मामले को 10 जुलाई...

नेशनल डेस्क:  दिल्ली उच्च न्यायालय ने निजी स्कूलों को लॉकडाउन खत्म होने के बाद की अवधि के लिए छात्रों से वार्षिक और विकास शुल्क लेने की अनुमति देने वाले एकल न्यायाधीश के आदेश पर रोक लगाने से सोमवार को इनकार कर दिया। अदालत ने आगे की सुनवाई के लिए मामले को 10 जुलाई के लिए सुचीबद्ध किया है।

Delhi Unlock: केजरीवाल बोले- संक्रमण से बचना है, अर्थव्यवस्था को फिर से पटरी पर लाना है

न्यायमूर्ति रेखा पल्ली और न्यायमूर्ति अमित बंसल की पीठ ने 450 निजी स्कूलों का प्रतिनिधित्व करने वाले ‘एक्शन कमेटी अनएडिड रिकॉग्नाइज्ड प्राइवेट स्कूल्स' से कहा कि वह एकल न्यायाधीश के आदेश के 31 मई के फैसले खिलाफ आप सरकार और छात्रों की याचिकाओं पर अपना रुख स्पष्ट करे। दिल्ली सरकार और छात्रों का कहना है कि एकल न्यायाधीश का फैसला गलत तथ्यों और कानून पर आधारित था।

तीसरी लहर के लिए तैयार नहीं अस्पताल!  ईलाज न मिलने पर संक्रमित बच्ची की जन्म के 6 दिन बाद मौत
 

एकल पीठ ने 31 मई के अपने आदेश में दिल्ली सरकार के शिक्षा निदेशालय द्वारा अप्रैल और अगस्त 2020 में जारी दो कार्यालय आदेशों को निरस्त कर दिया था, जो वार्षिक शुल्क और विकास शुल्क लेने पर रोक लगाते तथा स्थगित करते हैं। अदालत ने कहा था कि वे ‘अवैध’ हैं और दिल्ली स्कूल शिक्षा (डीएसई) अधिनियम एवं नियमों के तहत शिक्षा निदेशालय को दी शक्तियों से परे है।

Related Story

India

397/4

50.0

New Zealand

327/10

48.5

India win by 70 runs

RR 7.94
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!