CM चरणजीत चन्‍नी ने राहुल गांधी के साथ मिलकर पंजाब कैबिनेट के मंत्रियों के नाम किए तय- सूत्र

Edited By Anu Malhotra,Updated: 25 Sep, 2021 12:41 PM

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पंजाब में नए मुख्‍यमंत्री चरणजीत सिंह चन्‍नी ने अपने मंत्रिमंडल का विस्तार कर दिया है। सूत्रों के मुताबिक, चरणजीत चन्‍नी ने राहुल गांधी के साथ मिलकर पंजाब कैबिनेट के मंत्रियों के नाम तय कर दिए है। बता दें कि इससे पहले कैबिनेट के विस्तार को लेकर...

नई दिल्‍ली- पंजाब में नए मुख्‍यमंत्री चरणजीत सिंह चन्‍नी ने अपने मंत्रिमंडल का विस्तार कर दिया है। सूत्रों के मुताबिक, चरणजीत चन्‍नी ने राहुल गांधी के साथ मिलकर पंजाब कैबिनेट के मंत्रियों के नाम तय कर दिए है। बता दें कि इससे पहले कैबिनेट के विस्तार को लेकर चन्‍नी तीन बार दिल्‍ली आए थे।  

सोमवार को चन्‍नी ने मुख्यमंत्री का पदभार संभाला था, उसी के बाद से कैबिनेट गठन की चर्चाएं तेज हो गई थीं। बता दें कि पंजाब में कैप्‍टन अमरिंदर सिंह और नवजोत सिंह सिद्धू के बीच जारी घमासान के बाद  कैबिनेट का विस्तार करना  चन्‍नी और राहुल गांधी के लिए आसान नहीं होगा। 


तीनों बैठक में सिद्धू को नहीं बुलाया 
वहीं एक रिपोर्ट के अनुसार,  नए राज्य मंत्रिमंडल के चयन पर सीएम चरणजीत सिंह चन्नी और पीपीसीसी प्रमुख नवजोत सिद्धू के बीच मतभेद हैं, जिसके चलते मंत्रिमंडल के विस्तार में देरी हो रही थी। पिछले कुछ दिनों में सीएम का दिल्ली का यह तीसरा दौरा है, उन्हें बीते शुक्रवार सुबह ही उन्हें दिल्ली दोबारा बुलाया गया था, इसमें खास बात यह थी कि पार्टी आलाकमान ने तीन में से दो बैठकों के लिए सिद्धू को नहीं बुलाया था।


चन्‍नी राज्‍य के पहले दलित मुख्‍यमंत्री है
उधर पिछले कुछ दिनों से पंजाब में कैप्‍टन अमरिंदर सिंह और नवजोत सिंह सिद्धू के बीच विवाद छिड़ा था, जिसके बाद अमरिंदर सिंह ने सीएम पद से इस्‍तीफा दे दिया और   चरणजीत सिंह चन्‍नी को नया मुख्‍यमंत्री बनाया गया। बता दें कि चन्‍नी राज्‍य के पहले दलित मुख्‍यमंत्री है, इसे कांग्रेस की राज्‍य के करीब 30 फीसद दलित वर्ग को लुभाने की कोशिश के रूप में देखा जा रहा है। 


सिद्धू और चन्नी कई विधायकों को कैबिनेट में शामिल करने पर सहमत नहीं
सूत्रों के अनुसार, सिद्धू और चन्नी कई विधायकों को कैबिनेट में शामिल करने पर सहमत नहीं थे। राजा वड़िंग, परगट सिंह और कुलजीत नागरा को शामिल करने पर दोनों के बीच मतभेद सामने आए हैं, जबकि सिद्धू तीनों का पुरजोर समर्थन कर रहे हैं।  चन्नी का मानना है कि संगठन के लोगों को पार्टी पर ध्यान केंद्रित करना चाहिए क्योंकि चुनाव नजदीक हैं। बता दें कि परगट सिंह पीपीसीसी महासचिव हैं और नागरा कार्यकारी अध्यक्ष हैं। 


साथ ही सिद्धू, राजा वड़िंग का समर्थन कर रहे हैं, लेकिन पूर्व वित्त मंत्री मनप्रीत सिंह बादल उनका कड़ा विरोध कर रहे हैं।मनप्रीत सिंह बादल ने चन्नी के सीएम बनने में भी अहम भूमिका निभाई थी।  चन्नी को गुरुवार को दिल्ली बुलाया गया था और उन्होंने वरिष्ठ नेता केसी वेणुगोपाल, प्रभारी महासचिव हरीश रावत, हरीश चौधरी और अजय माकन और अंत में राहुल गांधी के साथ दो दौर की बैठकें की थीं। राहुल गांधी की पूर्व पीपीसीसी प्रमुख सुनील जाखड़ से करीब 45 मिनट तक मुलाकात के बाद शुक्रवार को उन्हें फिर से बैठक के लिए बुलाया गया था, जिसमें सूत्रों का कहना है कि पंजाब कैबिनेट के मंत्रियों के नाम अब तय कर दिए है।

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