भाजपा में महासचिव रहे पी. मुरलीधर राव को पार्टी से निकालने के बाद उनका फिर से पुनर्वास हो गया है परंतु ऊंचे घोड़े पर सवार एक अन्य महासचिव राम माधव अभी भी अलग-थलग पड़े हुए हैं और उनके बारे में अभी कुछ नहीं सोचा गया है। मुरलीधर राव को भाजपा शासित
नई दिल्लीः भाजपा में महासचिव रहे पी. मुरलीधर राव को पार्टी से निकालने के बाद उनका फिर से पुनर्वास हो गया है परंतु ऊंचे घोड़े पर सवार एक अन्य महासचिव राम माधव अभी भी अलग-थलग पड़े हुए हैं और उनके बारे में अभी कुछ नहीं सोचा गया है। मुरलीधर राव को भाजपा शासित मध्य प्रदेश का प्रभारी बनाया गया है।
सितम्बर में भाजपा में फेरबदल के दौरान राम माधव मुरलीधर के साथ पद से हटा दिए गए थे। दोनों को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आर.एस.एस.) से भाजपा में लाया गया था और दोनों काफी ऊपर जाने की आशाएं बांधे हुए थे। भाजपा अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा ने राव पर तो मेहरबानी कर दी परंतु राम माधव पर उनकी कृपादृष्टि नहीं हुई।
वैसे राम माधव अपना निजी ट्रस्ट ‘इंडिया फाऊंडेशन’ चलाकर अपनी राजनीतिक व गैर-राजनीतिक गतिविधियां जारी रखे हुए हैं। वह विभिन्न समाचारपत्रों में कॉलम भी लिखते रहते हैं। हाल ही में, एक अंग्रेजी अखबार में उनके एक लेख ने थोड़ी हलचल भी मचाई जिसमें उन्होंने अप्रत्यक्ष रूप से सरकार के काम करने के तरीके पर सवाल उठाए थे।
हालांकि लेख में हल्के ढंग से सवालिया निशान उठाए गए थे परंतु इससे साफ है कि अभी उन्हें जल्द कुछ मिलता नहीं दिख रहा है। वह कर्नाटक से राज्यसभा सीट की उम्मीद लगाए बैठे हैं जहां अभी उपचुनाव होने हैं। अब सवाल यह है कि राम माधव से ऐसा व्यवहार क्यों किया जा रहा है। किसी के पास इसका सटीक जवाब नहीं है।
एक जानकार नेता का कहना है कि राम माधव बहुत ऊंचा उड़ रहे थे। इससे पहले कि उन्हें कोई ठीक-ठाक पद देने पर विचार किया जाए उन्हें धरती पर उतारना जरूरी था। प्रत्येक दिन बीतने पर यह तो और भी साफ होता जा रहा है कि मौजूदा शासन में किसी को भी बहुत ऊंचा उडऩे की इजाजत नहीं मिलती है।
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