रिसर्च में खुलासा- प्रदूषण के कारण भारतीयों की जिंदगी 5.2 साल घटी

Edited By Seema Sharma,Updated: 29 Jul, 2020 01:23 PM

research reveals  indians lost 5 2 years due to pollution

प्रदूषण के कारण भारत में लोगों के जीने के साल कम होते जा रहे हैं, यह खुलासा किया है अमेरिका की एक बड़ी यूनिवर्सिटी ने। वायु प्रदूषण ने भारतीयों की आयु में औसतन 5.2 साल तक की कमी कर दी है और यदि विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के मानकों के अनुरूप वायु...

नेशनल डेस्कः प्रदूषण के कारण भारत में लोगों के जीने के साल कम होते जा रहे हैं, यह खुलासा किया है अमेरिका की एक बड़ी यूनिवर्सिटी ने। वायु प्रदूषण ने भारतीयों की आयु में औसतन 5.2 साल तक की कमी कर दी है और यदि विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के मानकों के अनुरूप वायु प्रदूषण में कमी लाई जाती है तो दिल्लीवालों की उम्र में 9.4 वर्ष की वृद्धि हो सकती है। विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के दिशा-निर्देशों के अनुसार हवा में महीन कणों के रूप में मौजूद प्रदूषक तत्व (PM) 2.5 का स्तर 10 माइक्रोन प्रति घन मीटर से अधिक नहीं होना चाहिए, वहीं PM10 का स्तर 20 माइक्रोन प्रति घन मीटर से अधिक नहीं होना चाहिए। भारत में 2018 में PM2.5 का औसत स्तर 63 माइक्रोन प्रति घन मीटर था। 

 

शिकागो विश्वविद्यालय के एनर्जी पॉलिसी इंस्टिट्यूट द्वारा तैयार की गई नई वायु गुणवत्ता जीवन प्रत्याशा सूची के अनुरूप पूरे भारत में यदि प्रदूषण के स्तर में WHO के मानकों के अनुरूप कमी आती है तो भारतीयों की उम्र में 5.2 साल तक की वृद्धि होगी। रिपोर्ट में कहा गया है, ‘‘समय के साथ महीन कणों से संबंधित प्रदूषण में काफी वृद्धि हुई है। 1998 से महीन कण संबंधी वार्षिक प्रदूषण में 42 प्रतिशत की वृद्धि हुई है जिससे उन वर्षों में लोगों की आयु में औसतन 1.8 वर्ष की कमी आई।'' इसमें कहा गया है कि भारत की एक चौथाई आबादी प्रदूषण की ऐसी स्थिति में रह रही है जो किसी अन्य देश में दिखाई नहीं देती। 

 

24 करोड़ से ज्यादा लोगों की उम्र 8 साल ज्यादा होगी कम
यदि प्रदूषण का स्तर बरकरार रहता है तो उत्तर भारत में 24 करोड़ 80 लाख लोगों की आयु में आठ साल से अधिक की कमी आ सकती है। लखनऊ में देश में प्रदूषण का सर्वाधिक स्तर दिखा जहां WHO के मानकों की तुलना में 11 गुना अधिक प्रदूषण है। रिपोर्ट में कहा गया है कि यदि लखनऊ में प्रदूषण का यह स्तर बरकरार रहता है तो वहां के लोगों की जीवन प्रत्याशा में 10.3 साल तक की कमी आने का खतरा है। इसमें कहा गया है कि यदि दिल्ली में WHO के मानकों के अनुरूप प्रदूषण में कमी लाई जाती है तो राष्ट्रीय राजधानी के लोगों की उम्र में 9.4 वर्ष की वृद्धि हो सकती है। यदि इस प्रदूषण में भारत के राष्ट्रीय मानक के अनुरूप कमी लाई जाती है तो दिल्लीवालों की उम्र 6.5 साल बढ़ सकती है। 

 

इन देशों में सबसे ज्यादा प्रदूषण
रिपोर्ट के अनुसार यदि प्रदूषण में  WHO के मानकों के अनुरूप कमी आती है तो बिहार और बंगाल जैसे राज्यों के लोगों की उम्र में सात साल से अधिक की वृद्धि तथा हरियाणा के लोगों की उम्र में आठ साल की वृद्धि हो सकती है। इसमें उल्लेख किया गया है कि चार देशों-बांग्लादेश, भारत, नेपाल और पाकिस्तान में विश्व की लगभग एक चौथाई आबादी रहती है और ये देश सर्वाधिक प्रदूषण वाले देशों की सूची में शामिल हैं। उत्तर भारत दक्षिण एशिया में सर्वाधिक प्रदूषित हिस्से के रूप में उभर रहा है।

Related Story

IPL
Chennai Super Kings

176/4

18.4

Royal Challengers Bangalore

173/6

20.0

Chennai Super Kings win by 6 wickets

RR 9.57
img title
img title

Be on the top of everything happening around the world.

Try Premium Service.

Subscribe Now!