Edited By Seema Sharma,Updated: 14 Jul, 2020 03:07 PM
राजस्थान में पिछले कुछ दिनों से चली आ रही सियासी उठा-पटक के बीच मंगलवार को आखिरकार मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का पलड़ा भारी दिखा और बगावत करने पर सचन पायलट को कांग्रेस ने बाहर का रास्ता दिखा दिया। कांग्रेस ने कार्रवाई करते हुए सचिन पायलट को उप...
नेशनल डेस्कः राजस्थान में पिछले कुछ दिनों से चली आ रही सियासी उठा-पटक के बीच मंगलवार को आखिरकार मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का पलड़ा भारी दिखा और बगावत करने पर सचन पायलट को कांग्रेस ने बाहर का रास्ता दिखा दिया। कांग्रेस ने कार्रवाई करते हुए सचिन पायलट को उप मुख्यमंत्री और मंत्री पदों से हटा दिया है। मंत्रिमंडल से हटाए जाने के बाद सचिन पायलट ने एक ट्वीट कर कांग्रेस को जवाब दिया। पायलट ने ट्वीट किया कि सत्य को परेशान किया जा सकता है, पराजित नहीं। इसके साथ ही उन्होंने अपने ट्विटर प्रोफाइल से अपना बॉयो भी चेंज कर दिया है। पायलट ने उप मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष का उल्लेख हटा दिया। अब उनके प्रोफाइल में उनके विधायक (टोंक) और पूर्व केंद्रीय मंत्री होने का जिक्र है।
बता दें कि सियासी संकट के बीच राजस्थान में सोमवार के बाद मंगलवार को भी पार्टी विधायक दल की बैठक बुलाई गई थी। कांग्रेस ने सचिन पायलट से इस बैठक में शामिल होने को कहा था लेकिन उन्होंने इससे इंकार कर दिया। कांग्रेस के प्रदेश प्रभारी अविनाश पांडे ने पायलट व उनके समर्थकों से बैठक में शामिल होने की अपील सोशल मीडिया के जरिए की। पांडे ने ट्वीट किया,'मैं सचिन पायलट और उनके सभी साथी विधायकों से अपील करता हूं कि वे आज की विधायक दल की बैठक में शामिल हों। उन्होंने कहा कि पायलट व उनके समर्थकों को एक और मौका दिया जा रहा है।
पायलट ने बैठक में शामिल होने से मना कर दिया जिसके बाद कांग्रेस ने ऐक्शन लेते हुए पायलट को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया। बता दें कि इससे पहले सोमवार को बैठक में कांग्रेस नेताओं ने दावा किया था कि कांग्रेस व उसके समर्थक निर्दलीय व अन्य को मिलाकर 109 विधायकों ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की सरकार को समर्थन दिया है।