Edited By ,Updated: 11 Nov, 2016 06:33 PM
श्रीनगर में अलगाववादियों की ‘जामिया मस्जि चलो’ रैली को विफ ल करने के लिए बटमालू के अलावा शहर-ए-खास और पुराने इलाके में आज फि र से कफ्र्यू लगा दिया गया जिसके चलते मार्च को नाकाम कर दिया गया।
श्रीनगर : श्रीनगर में अलगाववादियों की ‘जामिया मस्जि चलो’ रैली को विफ ल करने के लिए बटमालू के अलावा शहर-ए-खास और पुराने इलाके में आज फि र से कफ्र्यू लगा दिया गया जिसके चलते मार्च को नाकाम कर दिया गया। इस दौरान अलगाववादियों के शुक्रवार के विरोध प्रदर्शन के आह्वान को देखते हुए प्रशासन ने गुरुवार को हुर्रियत नेता मीरवाइज उमर फ ारूक को नजरबंद कर दिया और जम्मू.कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (जेकेएलएफ) को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। मीरवाइज से जुड़े सूत्रों ने कहा कि उन्हें पुलिस ने बताया कि वह शहर के निगीन स्थित आवास के बाहर नहीं जा सकते क्योंकि वह नजरबंद हैं। पुलिस टीम यासीन मलिक के मैसूमा स्थित आवास पर पहुंची और उन्हें गिरफ्तार कर लिया। मलिक के समर्थकों के एक गुट ने मलिक की गिरफ्तारी का प्रतिरोध करने की कोशिश की लेकिन पुलिस ने उन्हें रोक दिया। मलिक को श्रीनगर केंद्रीय जेल भेज दिया गया है। दो हफ्ते पहले मलिक को जेल से रिहा किया गया था क्योंकि उनकी बांह में एक फोड़ा हो गया था। अलगाववादी नेता सैयद अली शाह गिलानी शहर के हैदरपुरा आवास में अभी नजरबंद हैं। प्रशासन ने पुराने श्रीनगर स्थित जामिया मस्जिद से एक विरोध रैली में भाग लेने से रोकने के लिए अलगाववादियों पर यह कार्रवाई की है। वहीं, हुरियत कांफ्रैंस (जी) चेयरमैन सैयद अली शाह गिलानी भी नजरंबद रहे।
इस बीच अलगाववादियों द्वारा आहूत हड़ताल और प्रशासनिक पाबंदियों की वजह से आज लगातार 112वें दिन भी आम जनजीवन अस्त व्यस्त रहा। उधर, पाबंदियों के कारण जामिया मस्जिद में आज लगातार 16 शुक्रवार भी जुमे की नमाज नहीं अता की जा सकी।
जानकारी के अनुसार अलगाववादियों द्वारा जामिया मस्जिद चलो मार्च के मद्देनजर श्रीनगर के पुराने शहर को पूरी तरह से सील कर दिया गया। आजादी समर्थक और देश विरोधी प्रदर्शनों के गढ़ पुराने शहर की गलियों और सभी सडक़ों पर सुरक्षाबलों को तैनात किया गया। अधिकारियों के अनुसार वह किसी भी तरह का जोखिम नहीं उठाना चाहते हैं, इसलिए पुराने शहर में सख्त कफ्र्यू लागू करने के निर्देश दिए गए। जामिया मस्जिद की ओर जाने वाली सभी सडक़ों को बंद कर दिया गया है ताकि वहां लोग एकत्र नहीं हो सकें। पुराने शहर के नौहट्टा, खानयार, सफाकदल, रैनावाड़ी और महाराज गंज में और शहर के बाहरी इलाके के बटमालू में कफ्र्यू लागू किया गय। इन स्थानों के इलावा कश्मीर के किसी और इलाके में लोगों की आवाजाही पर कोई रोक नहीं है, लेकिन घाटी में सीआरपीसी की धारा 144 के तहत लोगों के एक जगह इकठ्ठा होने पर प्रतिबंध है।
इन संगठनों ने हड़ताल की अवधि 17 नवंबर तक के लिए बढ़ा दी है। अलगाववादियों ने लोगों से मस्जिद में नमाज अदा करने के लिए ‘घेराबंदी’ को तोडऩे के वास्ते आज जामिया मस्जिद की ओर मार्च करने की अपील की है। हालांकि उदारवादी एचसी के अध्यक्ष मीरवाइज मौलवी उमर फारूक के मजबूत गढ़ माने जाने वाले इलाके में स्थित इस मस्जिद का मुख्य द्वार बंद है और इसके आस-पास तथा जामिया मार्केट इलाके में बुलेट प्रूफ जैकेट पहने और स्वचालित हथियारों के साथ बड़ी संख्य़ा में सुरक्षा बल के जवान तैनात हैं।
श्रीनगर शहर के कुछ हिस्सों में प्रतिबंध के कारण लोगों एवं वाहनों की आवाजाही में आज गिरावट देखी गई। सिविल लाइंस और शहर के बाहरी इलाकों में सडक़ों पर यातायात आम दिनों के मुकाबले आज कम रहा। इसी बीच अलगाववादियों के आह्वान पर आयोजित हड़ताल के कारण 116वें दिन भी शेष घाटी में जनजीवन प्रभावित रहा। दुकानें, पेट्रोल पंप, व्यावसायिक संस्थान और शैक्षणिक संस्थान बंद रहे। कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए एहतियातन कदम उठाते हुए संवेदनशील स्थानों एवं मुख्य सडक़ों के पास बड़ी संख्या में सुरक्षा बल तैनात किए गए हैं।
इस बीच शहर के व्यवसायिक केन्द्र लालचौक को भी सील कर दिया गया। लालचौक की ओर जाने वाली सडक़ों को कंटीले तारों से अवरुद्ध कर दिया गया। लालचौक के घंटाघर की ओर किसी को भी जाने की इजाजत नही दी गई। वहीं, यासीन मलिक के गढ़ मयसूमा इलाके, बडशाह चौक, मदीना चौक, गवकदल और रेडक्रॉस रोड़ को भी सील कर दिया गया। किसी भी तरह की अप्रिय घटना को रोकने के लिए इन स्थानों में पुलिस और सी.आर.पी.एफ. को तैनात किया गया।
पुलिस के एक अधिकारी ने बताया अलगाववादियों द्वारा आहूत मार्च के बाद एहतियातन उपाय के तहत घाटी के अनंतनाग, कुलगाम, पुलवामा और शोपियां जिलों में प्रतिबंध रहे। चार जिलों बांदीपोरा, बडग़ाम, गंदरबल और बारामुला तथा श्रीनगर शहर के बाकी इलाकों में प्रतिबंध लगाए गए हैं। अधिकारी ने बताया कि घाटी में स्थिति अब तक शांतिपूर्ण है और कहीं से भी किसी अप्रिय घटना की सूचना नहीं मिली।