Edited By shukdev,Updated: 26 Nov, 2019 08:07 PM
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने मंगलवार को कहा कि आतंकवाद अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के समक्ष सबसे बड़ा खतरा है तथा मानवाधिकार और लोकतंत्र के लिए खड़े होने वाले सभी लोगों को इस बुराई के खिलाफ एकजुट होना चाहिए। जयशंकर ने मुंबई में 11 वर्ष पहले हुए...
नई दिल्ली: विदेश मंत्री एस जयशंकर ने मंगलवार को कहा कि आतंकवाद अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के समक्ष सबसे बड़ा खतरा है तथा मानवाधिकार और लोकतंत्र के लिए खड़े होने वाले सभी लोगों को इस बुराई के खिलाफ एकजुट होना चाहिए। जयशंकर ने मुंबई में 11 वर्ष पहले हुए जघन्य आतंकी हमले के संदर्भ में यह बात कही। संविधान को अंगीकार किए जाने के 70 वर्ष पूरे होने के अवसर पर आयोजित एक समारोह में जयशंकर ने कहा,‘ आज हमारी लोकतांत्रिक स्वतंत्रता पर जघन्य हमले की बरसी है। मुंबई में 11 साल पहले हुए इस आतंकी हमले ने भारतीयों की सामूहिक चेतना पर आघात करने का काम किया।'
भारतीय संविधान के संदर्भ में विदेश मंत्री ने कहा कि यह भारतीयों के जीवन का मौलिक हिस्सा है क्योंकि यह कठिन समय में लोगों को मार्ग दिखाने का काम करता है। उन्होंने यह भी कहा कि भारतीय संविधान केवल अनुच्छेद एवं अनुसूचियों का समूह नहीं है, बल्कि यह लोगों की उम्मीदों एवं आकांक्षाओं का प्रतिनिधित्व करता है।
जयशंकर ने कहा,‘आपमें से बहुत से लोग जानते होंगे कि भारतीय संविधान अनुच्छेद एवं अनुसूचियों के समूहों से कहीं आगे है। यह हमारी उम्मीदों और आकांक्षाओं का प्रतिनिधित्व करता है जो ऐसे समाज के लिए आदर्श है जिसकी हम कल्पना करते हैं।' विदेश मंत्री ने कहा,‘संविधान भारतीयों के जीवन का बुनियादी हिस्सा है जो कठिन समय में हमें रास्ता दिखाता है। यह हमारे लिए गर्व की बात है कि हमारा संविधान पिछले सात दशकों से बना हुआ है।'