Edited By Parveen Kumar,Updated: 29 Nov, 2022 12:33 AM
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने पूर्ववर्ती डॉ मनमोहन सिंह पर सोमवार को तंज कसते हए कहा कि 2014 तक कांग्रेस नीत सरकार में जाने-माने अर्थशास्त्री के प्रधानमंत्री होने के बावजूद देश की अर्थव्यवस्था सिर्फ एक पायदान बढ़कर 10वें स्थान पर पहुंची थी।
नेशनल डेस्क : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने पूर्ववर्ती डॉ मनमोहन सिंह पर सोमवार को तंज कसते हए कहा कि 2014 तक कांग्रेस नीत सरकार में जाने-माने अर्थशास्त्री के प्रधानमंत्री होने के बावजूद देश की अर्थव्यवस्था सिर्फ एक पायदान बढ़कर 10वें स्थान पर पहुंची थी। अपने आप को विनम्र ‘चायवाला' बताते हुए मोदी ने कहा कि 2014 में प्रधानमंत्री बनने के बाद आठ साल के शासन में देश की अर्थव्यवस्था दुनिया में पांचवी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था हो गई है।
गुजरात के राजकोट में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) उम्मीदवारों के समर्थन में एक रैली को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने अपने प्रदर्शन की तुलना पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के 10 साल के कार्यकाल से की। सिंह 2004 से 2014 तक देश के प्रधानमंत्री रहे थे। राज्य की 182 में से 89 विधानसभा सीटों के लिए पहले चरण के तहत एक दिसंबर को मतदान होगा। पहले चरण के मतदान से पहले मोदी की यह आखिरी रैली थी। मोदी ने कहा, “ 2014 में मेरे प्रधानमंत्री का पद संभालने से पहले, कांग्रेस 10 वर्ष तक सत्ता में रही थी।
2004 में जब कांग्रेस पहली बार सत्ता में आई थी, तब एक प्रसिद्ध अर्थशास्त्री (मनमोहन सिंह) हमारे प्रधानमंत्री थे और भारतीय अर्थव्यवस्था दुनिया में 11वें स्थान पर थी।” उन्होंने कहा, “ हालांकि उन्होंने बाद के वर्षों में जो कुछ भी किया, भारतीय अर्थव्यवस्था 10वीं सबसे बड़ी बन गई। भारत को 11वें से 10वें नंबर पर आने में 10 साल लग गए।” मोदी ने कहा, “आपने 2014 में एक चाय वाले को बागडोर सौंपी। मैंने कभी दावा नहीं किया कि मैं अर्थशास्त्री हूं। लेकिन मुझे नागरिकों की क्षमता पर यकीन है।”
उन्होंने कहा कि पिछले आठ साल में, भारत की अर्थव्यवस्था 10वें से पांचवें स्थान पर आ गई। प्रधानमंत्री ने कहा, “ तो बस तुलना करें। 11वें स्थान से 10वें स्थान पर आने में (कांग्रेस के शासन में) 10 साल लग गए और 10वें स्थान से पांचवें स्थान पर पहुंचने में (भाजपा की सरकार में) आठ साल लगे।” मोदी ने कहा कि आजादी के बाद भारत ने निर्यात के सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं और देश निवेशकों का पसंदीदा स्थल बन गया है।